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हिन्दुस्तान जिंक को ‘इंडियाज लार्जेस्ट सिल्वर माइनर एंड रिफाइनर‘ अवार्ड

आईजीसी एक्सीलेंस अवार्ड कमेटी द्वारा जयपुर के मैरियट में आयोजित कार्यक्रम में किया गया सम्मानित

 
हिंदुस्तान जिंक की विश्व स्तरीय, चांदी से समृद्ध सिंदेसर खुर्द खदान भारत की सबसे बड़ी भूमिगत खदान है, जिसकी क्षमता 6 मिलियन टन है। 

आईजीसी एक्सीलेंस अवार्ड कमेटी द्वारा जयपुर के मैरियट में आयोजित कार्यक्रम में हिंदुस्तान जिंक को इंडियाज लार्जेस्ट सिल्वर माइनर एंड रिफाइनर पुरस्कार से सम्मानित किया। 

हिंदुस्तान जिंक लिमिटेड को यह पुरस्कार ऑनलाइन पोर्टल पहल के लिए दिया गया, जिसने वित्त वर्ष 2020 और वित्त वर्ष 21 में कोविड-19 के कारण लॉकडाउन की सबसे कठिन अवधि के दौरान चांदी के उपयोगकर्ताओं को धातु प्राप्त करने में सक्षम बनाया। हिंदुस्तान जिंक की ओर से यह पुरस्कार मुख्य विपणन अधिकारी अमृता सिंह ने प्राप्त किया।

कंपनी ने मैनुअल हस्तक्षेप को खत्म करते हुए ई-नीलामी के माध्यम से चांदी बेचना शुरू किया, जिससे सभी खरीदारों को प्रतिस्पर्धा करने और बिक्री के दौरान मूल्य पारदर्शिता को का समान अवसर मिला। 

इवेंटेल ग्लोबल एडवाइजरी प्राइवेट लिमिटेड और इंडिया बुलियन एंड ज्वैलर्स एसोसिएशन ने इस कार्यक्रम को आयोजित करने के लिए सहयोग किया। द इण्डियन गोल्ड काॅन्फ्रेंस गोल्ड बुलियन उद्योग को क्षेत्र के भविष्य से जुड़ने, चर्चा और विचार-विमर्श करने के लिए मंच प्रदान करने का प्रयास करता है।

हिंदुस्तान जिंक भारत का एकमात्र प्रमुख चांदी उत्पादक है, जो दुनिया के शीर्ष चांदी उत्पादकों में छठे स्थान पर है। कंपनी औद्योगिक क्षेत्र (विद्युत घटक, सोल्डर और मिश्र धातु, और फार्मास्यूटिकल्स), साथ ही साथ आभूषण और चांदी के बर्तन सहित बाजारों की  विस्तृत श्रृंखला में कार्यरत है। हिंदुस्तान जिंक की विश्व स्तरीय, चांदी से समृद्ध सिंदेसर खुर्द खदान भारत की सबसे बड़ी भूमिगत खदान है, जिसकी क्षमता 6 मिलियन टन है। 

वित्त वर्ष 2011 में, कंपनी ने अब तक का सबसे अधिक चांदी का उत्पादन किया, जो 706 टन है, जो कि 16 प्रतिशत अधिक है। मौजूदा और नए चांदी-समृद्ध संसाधनों से उच्च उत्पादन, साथ ही बेहतर रिकवरी पद्धति से, आने वाले कुछ वर्षों में कंपनी के 1,000 टन तक पहुंचने के लक्ष्य ओर अग्रसर है। जिससे हिन्दुस्तान जिंक विश्व के शीर्ष तीन चांदी उत्पादकों में से एक कंपनी होगी।