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MLSU: रोबोट करेगा स्टूडेंट्स की मदद

आर्टिफिशियल इंटेलिजेंस का इस्तेमाल करने वाला पहला विश्वविद्यालय बनेगा मोहन लाल सुखाड़िया विश्वविद्यालय
 
 
रोबोट तैयार करवाया जाएगा जोकि विश्वविद्यालय के प्रशासनिक भवन के बाहर थर्मल स्कैनिंग करेगा एवं विद्यार्थियों और आगंतुकों के सवालों के जवाब देगा

उदयपुर। कुलपति प्रो अमेरिका सिंह के नेतृत्व में आर्टिफिशियल इंटेलिजेंस का प्रायोगिक तौर पर इस्तेमाल करने वाला मोहनलाल सुखाड़िया विश्वविद्यालय पहला विश्वविद्यालय बनने जा रहा है। इसके तहत रोबोट तैयार करवाया जाएगा जोकि विश्वविद्यालय के प्रशासनिक भवन के बाहर थर्मल स्कैनिंग करेगा एवं विद्यार्थियों और आगंतुकों के सवालों के जवाब देगा।

विश्वविद्यालय के प्रवक्ता डॉ कुंजन आचार्य ने बताया कि नवनियुक्त कुलपति शुरू से ही आर्टिफिशियल इंटेलिजेंस के पक्षधर रहे हैं। साथ ही उन्होंने हर अवसर पर विज्ञान एवं प्रौद्योगिकी के इस्तेमाल से विश्वविद्यालय में नवाचार की बात कही हैं। 

इसी क्रम में रोबोट खरीदने के लिए कुलपति ने एक कार्य योजना तैयार की है जिसके तहत वे सोमवार को नई दिल्ली में विभिन्न हाईटेक कंपनियों के विशेषज्ञों से मिलेंगे एवं इसके तकनीकी परीक्षण के लिए उनसे सहयोग के लिए वार्ता करेंगे। कुलपति की मंशा है कि एक ऐसे रोबोट को विश्वविद्यालय के प्रशासनिक भवन के बाहर तैनात किया जाए जो ना सिर्फ थर्मल स्कैनिंग एवं सैनिटाइजेशन की व्यवस्था करें बल्कि आगंतुकों को नमस्कार करे एवं उनको किस से मिलना है एवं किस तरह का काम है उसका जवाब भी दे पाए। 

कुलपति प्रो सिंह तकनीकी विशेषज्ञों से मुलाकात एवं रायशुमारी के बाद इस दिशा में जल्द ही कदम उठाएंगे। कुलपति ने कहा कि सुखाड़िया विश्वविद्यालय रोजगार परक शिक्षा को आगे बढ़ाना चाहता है इसीलिए हर विभाग में आर्टिफिशियल इंटेलिजेंस से संबंधित शोध कार्यों को बढ़ावा देना चाहते हैं। इनोवेशन एवं इनक्यूबेशन का लोकप्रिय उदाहरण बनने की दिशा में यह एक महत्वपूर्ण कदम होगा। 

कुलपति ने कहा कि नई शिक्षा नीति के अनुरूप सभी कोर्सों का परीक्षण किया जाएगा एवं तकनीक एवं आर्टिफिशियल इंटेलिजेंस को शामिल करते हुए उनमें हर संभव बदलाव भी किए जाएंगे।