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उदयपुर में विद्युत व्यवस्था होगी हाइटेक

फीडर का डाटा वर्तमान में मीटर तथा अन्य उपकरणों से व्यक्तिगत रुप से लेना पड़ता है अब वह डाटा सीधे कंप्यूटर से मिलेगा

 
इस योजना में कुल 3,03,758 करोड़ रु खर्च करने का प्रावधान

अजमेर विद्युत वितरण निगम के तहत आने वाले उदयपुर भीलवाड़ा और जिले में बिजली व्यवस्था को हाइटेक किया जाएगा। इसके लिए अजमेर शहर की तर्ज पर स्काडा (सुपरवाइजी कंट्रोल एंड डाटा एक्यूसीजन) सिस्टम लागू किया जाएगा। अजमेर डिस्कॉम इसके लिए प्रस्ताव तैयार कर रहा है। यह इसलिए किया जा रहा है क्योंकि उदयपुर और भीलवाड़ा की जनसंख्या 2.75 लाख से अधिक होने के कारण इन शहरों में स्काडा मय डिस्ट्रिब्यूशन मेंनजमेंट सिस्टम के लिए प्रोजेक्ट को चुना गया है। इन शहरो का क्षेत्रफल और विद्युत उपभोग अजमेर जिले के मुताबिक है।

इसके आने से यह फायदा होगा कि स्काडा के जरिए ऑनलाइन काम होने से वर्तमान में जीएसएस पर जो कार्य कर्मचारियों के जरिए होता था वह काम अब कंप्यूटर से ऑनलाइन हो सकेगा। जिससे एक तरफ करोड़ों रुपए की बचत तो होगी वहीं दूसरी दुर्घटनाओं में कमी आएगी। वहीं फीडर को जो डाटा वर्तमान में मीटर तथा अन्य उपकरणों से व्यक्तिगत रुप से लेना पड़ता है। वह डाटा अब सीधे कंप्यूटर से ले सकेंगे। इसके साथ ही लोड पोजीशन, पावर ट्रांसफार्मर की जानकारियां तथा शटडाउन लेने का कार्य भी ऑनलाइन होगा।

इस योजना में कुल 3,03,758 करोड़ रु खर्च करने का प्रावधान किया गया है। केंद्र सरकार 97,631 करोड़ का अनुदान देगी। इस योजना को ए और बी पार्ट में बांटा गया है। पार्ट ए में मीटरिंग और वितरण बुनियादी ढांचे में सुधार किया जाएगा। वहीं पार्ट बी में प्रशिक्षण और क्षमता निर्माण और अन्य सक्षम और सहायक गतिविधियां शामिल की गई है।

आपको बता दे कि इस योजना में 2.75 लाख से अधिक आबादी के देश 100 बड़े शहरों को शामिल किया है। इसमें उदयपुर और भीलवाड़ा शामिल है। वही पूर्व में राजस्थान के बड़े शहरों जयपुर, कोटा, जोधपुर, बीकानेर, अजमेर में केन्द्र सरकार की आरएपीडीआरपी योजना के अंतर्गत स्काडा मय डिस्ट्रिब्यूशन मेंनेजमेंट सिस्टम स्थापित किया जा चुका है।