यू डी टैक्स वसूली को लेकर निगम ने दिखाई सख्ती, 3 प्रतिष्ठान को किया सीज
लगातार जारी रहेगी करवाई
उदयपुर 20 दिसंबर 2024। नगर निगम द्वारा शहर में पिछले कई दिनों से अतिक्रमण, सफाई और यू डी टैक्स वसूली को लेकर सख्त कार्रवाई अमल में लाई जा रही है। लापरवाही मिलने पर निगम आयुक्त राम प्रकाश के निर्देश पर लगातार इमारत, प्रतिष्ठान को सीज करने जैसी कार्रवाई की जा रही है। इसी के चलते शुक्रवार को भी निगम द्वारा 3 संपत्ति को सीज किया गया।
नगर निगम राजस्व अधिकारी नितेश भटनागर ने बताया कि आयुक्त राम प्रकाश के निर्देश पर नगरीय विकास कर वसूलने को लेकर शुक्रवार को कार्यवाही की गई। शुक्रवार को एकलिंग गार्डन, रामपुरा रोड, मल्लाह तलाई जिनका बकाया कर अनुमानित 90.00 लाख रुपया है कार्यवाही कर सीज किया गया, वहीं गोविन्दम कॉम्पलेक्स जिसका 18 लाख 12 हजार रुपए नगरीय विकास कर बकाया है। प्रताप नगर स्थित पचोलिया वे ब्रिज धर्म काटा जिसका नगरीय विकास कर 28 लाख 54 हजार बकाया है। इनके द्वारा नगरीय विकास कर की राशि जमा नहीं कराने से नगर निगम द्वारा इन व्यावसायिक सम्पतियों पर ताला लगा इनकी व्यावसायिक गतिविधियाँ बन्द करा दी गई।
निगम ने नोटिस में अंकित किया की नगरीय विकास एंव स्वायत शासन विभाग की अधिसूचना क्रमांक 5513 दिनांक 29.00.2007 एंव अधिसूचना क्रमांक 8884 व 9356 दिनांक 24.08.2016 के तहत के वर्ष 2007 से 2023 तक उक्त संपत्ति का नगरीय विकास कर की पूरी रकम बकाया है। संबंधित फर्मों द्वारा टैक्स बकाया रहने के लिए कोई संतोषप्रद का कारण भी नही बताया गया है। फर्म से कुल बकाया का नोटिस भी तामिल करवाया जा चुका था। सभी कार्यवाही पूरी करने के उपरांत निगम ने कार्यवाही करते हुए राजस्थान नगरपालिका अधिनियम 2009 की धारा की उपबंधो के अधिन यू डी टैक्स की वसूली की पूर्ती हेतु तीनों संपतियो को सीज करने की कार्यवाही की गई। कार्यवाही के दौरान सहायक प्रशासनिक अधिकारी विनोद अग्रवाल भारी पुलिस बल मौजूद रहा।
लगातार जारी रहेगी करवाई
नगर निगम आयुक्त राम प्रकाश ने स्पष्ट किया है कि शहर में सभी प्रतिष्ठान मालिक जिनको नगर निगम द्वारा नगरीय विकास कर जमा करवाने के नोटिस मिल चुके हैं वह निगम कार्यालय में पहुंचकर अपना यूडी टैक्स जमा करवाकर शहर के विकास में अपना सहयोग करें। यदि इसके उपरांत भी नगरीय विकास कर नहीं जमा कराया जाता है तो निगम को सख्त कार्रवाई करते हुए संपत्तियों को सीज किया जाएगा, जिसकी समस्त जिम्मेदारी संबंधित फर्म मालिक की ही रहेगी।