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'अर्थ' ग्रुप के डॉ अरविंदर सिंह  खारडूँगला पास पर बाइक चलाने का चुनौतीपूर्ण प्रयास करने जा रहे हैं

ताकत सिर्फ जज़्बे से मिलती है, एवं व्यक्ति में कुछ कर दिखाने का जज़्बा होना चाहिए

 

अर्थ ग्रुप के सीईओ डॉ.अरविंदर सिंह अपनी शारीरिक चुनौतियों के बावजूद लदाख के खार ढुंगला पास के कठिन रास्तो में मोटरसाइक चलाने का प्रयास कर वर्ल्ड रिकॉर्ड बनाने जा रहे है।   

डॉ. सिंह शारीरिक डिस-एब्लेड होने के बावजूद किसी भी शारीरिक चुनौतियों को उन्हें रोकने से इंकार करते हुए कहते है की ताकत सिर्फ जज़्बे से मिलती है, एवं व्यक्ति में कुछ कर दिखाने का जज़्बा होना चाहिए। 

खारदुंगला लद्दाख में मौजूद एक ऊँचा पर्वतीय दर्रा है (माउंटेन पास) जो की विश्व की सबसे ऊँची मोटरेबल सड़क (विश्व की सब से ऊँची सड़क जहाँ गाड़ियां पहुँच सकती हैं) भी है। इसकी ऊंचाई 18530 फीट है और इसी के चलते उसके छोटी तक वाहन लेकर कर पहुंच पाना हर किसी के लिए एक चुनौती भरा कार्य है और ख़ास कर ऐसे व्यक्ति के लिए जिसका शरीर 80 % डिस-एब्लड हो। 

डॉ सिंह देश के अग्रणी व्यवसाइयों में गिने जाते हैं।  वह उदयपुर स्थित अर्थ ग्रुप के सीईओ के रूप हमेशा लीडरशिप के नविन दृष्टिकोण के लिए जाने जाते है। सिंह की कंपनी अर्थ एक ऐसी कंपनी है जो डाइग्नोस्टिक,डर्मेटोलोजी, क्लिनिकल कॉस्मोटोलॉजी और फिटनेस जैसे विभिन्न क्षेत्रों मे अपनी सेवाएं देती है। उनकी उल्लेखनीय यात्रा उनकी अदम्य भावना और समर्पण, गुणों को दर्शाती है जो उनके आगामी प्रयास में महत्वपूर्ण होंगे।

जुलाई के दूसरे सप्ताह के लिए अस्थायी रूप से निर्धारित इस अभियान का उद्देश्य विकलांगता के साथ रहने वाले व्यक्तियों के भीतर दृढ़ संकल्प की शक्ति और क्षमता का प्रदर्शन करना है।

अपनी इस साहसिक यात्रा के माध्यम से, डॉ. सिंह दूसरों को सामाजिक बाधाओं से मुक्त होने और अपनी शारीरिक सीमाओं से परे सपने देखने का साहस करने के लिए प्रेरित करने की उम्मीद करते हैं। व्यक्तिगत उपलब्धि से परे, सिंह को अपने इस प्रयास से विकलांग व्यक्तियों की क्षमताओं के बारे में जागरूकता बढ़ाने और सामाजिक धारणाओं को चुनौती देने की उम्मीद है। एक सफल प्रयास इस बात पर दूरगामी प्रभाव डाल सकता है कि समाज विकलांगता को कैसे देखता है और अधिक समावेशिता और स्वीकृति का मार्ग प्रशस्त करता है।

विशाल खारदुंग-ला से निपटने का डॉ. सिंह का प्रयास एक संभावित विश्व रिकॉर्ड से कहीं अधिक है। यह उनके लचीलेपन, साहस और इस अटल विश्वास का प्रमाण है कि सीमाएं केवल बाधाएं हैं, जिन्हें दूर किया जाना चाहिए। जैसा कि हम उसके साहसी प्रयास की प्रतीक्षा कर रहे हैं, हम केवल इस संभावना पर आश्चर्यचकित हो सकते हैं कि मानव आत्मा क्या हासिल कर सकती है।