कुलपति प्रोफेसर अमेरिका सिंह ने बताया कि कॉलेज ऑफ़ आर्किटेक्चर और इंस्टिट्यूट ऑफ़ इंजीनियरिंग एंड टेक्नोलॉजी में इंटरफ़ेस कार्यक्रम का शुभारंभ किया गया उन्होंने कहा कि सूचना व तकनीकी के युग में आपसी तालमेल संवाद तथा एकेडमिक नवाचार अति आवश्यक है जिससे छात्रों का ज्ञान वर्धन किया जा सके। इंडस्ट्री एकेडमीक इंटरफेस कार्यक्रम के तहत कंप्यूटर विभाग के प्रभारी डॉ अविनाश पवार ने सभी एक्सपर्ट्स का स्वागत किया और उन्होंने इस इंटरफेस के माध्यम से छात्रों के होने वाले चहुंमुखी विकास पर चर्चा की ।
इस अवसर पर आए हुए इंडस्ट्री विशेषज्ञ ने आगामी सत्र 2022 -23 के प्रवेश पोस्टर का अनावरण किया साथ ही पाठ्यक्रम और इंडस्ट्री से जुड़े विभिन्न मुद्दों पर बात की | इस अवसर पर इंडियन इंस्टिट्यूट ऑफ आर्किटेक्ट के चेयरमैन एवं कॉलेज ऑफ आर्किटेक्चर के डिजाइन चेयर आर्किटेक्ट विभाग के प्रो राजेंद्र जी मंत्री ने छात्रों को संबोधित करते हुए कला एवं तकनीक के मिश्रण की महत्ता बताइ तथा कंटेंट प्रशिक्षण एवं सामाजिक सरोकार पर प्रकाश डालते हुए छात्रों को हर समय जागरूक रहने के लिए आव्हान किया|
प्रोफ़ेसर मंत्री ने छात्रों को बताया कि हमें अपने क्षेत्र की विभिन्न तकनीकों के साथ-साथ प्राचीन कला से भी जुड़ा हुआ रहना चाहिए तभी हम अपने प्राचीन गौरव की स्थापत्य कला के साथ तकनीक का सम्मिश्रण करके कुछ और अधिक अच्छा करने में सक्षम होंगे।
प्रोफेसर आर्किटेक्ट उपेंद्र जी तातेड ने छात्रों को संबोधित करते हुए कॉन्सेप्ट स्केल तथा इकोनॉमी पर प्रकाश डाला आर्किटेक्ट तातेड जी ने बताया कि हर छात्र को किसी न किसी फील्ड में विशेषज्ञ होने की राह पर ध्यान देना बहुत आवश्यक है तथा छात्रों को बताया कि किस तरह वह इंडस्ट्री एक्सपर्ट्स के साथ रेगुलर कनेक्ट करके जीवन में ऊंचाइयों को प्राप्त कर सकते हैं ।
इंजीनियर राहुल माथुर ने छात्रों को बताया कि सीखने की कोई उम्र नहीं होती, सीखना और हर नई चीज के लिए तैयार रहना इंजीनियर एवं आर्किटेक्ट की सफलता की मूलभूत आवश्यकता है। उन्होंने तीन मूलभूत बातों को बताया कि क्या, कैसे और क्यों - इन तीन प्रश्नों का जवाब हर छात्र के पास होना अति आवश्यक है जिसके लिए उन्होंने छात्रों को असाइनमेंट देखकर उन्हें सम्मानित कर सभी छात्रों को इंडस्ट्री विशेषज्ञ के साथ जुड़ने का आह्वान किया ।
उन्होंने समझाया कि पॉजिटिव एटीट्यूड से किस तरह ज्ञान की वृद्धि और विस्तार हो सकता है। इस पर भी प्रकाश डाला की शिक्षण और इंडस्ट्री को एक दूसरे से जुड़ कर कार्य करना चाहिए जिससे शिक्षण के साथ-साथ देश की उन्नति पी होगी और देश को एक प्रशिक्षित एवं अच्छे विषय विशेषज्ञ प्राप्त होंगे। इस अवसर पर कॉलेज ऑफ़ आर्किटेक्चर तथा इंजीनियर इंजीनियरिंग कॉलेज के सभी अध्यापकगण, सहयोगीगण तथा छात्र उपस्थित रहे!
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