उदयपुर। माईनिंग इंजीनियर्स एसोसिएशन ऑफ इडियां, राजस्थान चैप्टर, उदयपुर के पच्चीस वर्ष पूर्ण होने पर रजत जयंती समारोह के अवसर पर आज सोभागपुरा स्थित शुभमंगल गार्डन में रोल ऑफ आर्टीफिशियल इंटलीजेंसी एण्ड ऑटोमेशन इन माईनिंग विषयक सेमिनार तथा साधारण वार्षिक सभा 2023 का आयोजन किया गया।
माईनिंग इंजीनियर्स एसोसिएशन ऑफ इडियां, राजस्थान चैप्टर, उदयपुर के रजत जंयती समारोह के मुख्य अतिथि संभागीय आयुक्त राजेन्द्र भट्ट ने कहा कि इंडस्ट्रीज एम्पलॉयमेंट जनरेशन में सहयोगी है परन्तु इसे सामाजिक सरोकारता भी निभानी पड़ती है। जिसमें किसी प्रकार की समस्या के लिये प्रशासन हमेशा तत्पर रहता है। माइनिंग इंडस्टी को आर्टिफिशियल इंटेलिजेंस पर इतना निर्भर नहीं होना चाहिये कि आम आदमी के रोटी कपड़ा मकान की आवश्यकता पूरी नहीं की जा सके।
इसके पूर्व शुरू में दीप प्रज्जवलन के पश्चात् अतिथियों एवं प्रतिभागियों का स्वागत करते हुए उदयपुर चैप्टर के अध्यक्ष मधु सूदन पालीवाल ने उदयपुर चैप्टर की सम्पूर्ण गतिविधियों को संक्षेप में बताते हुये इसके योगदान एवं गत 25 वर्ष में किये गये कार्याें की सराहना की।
एमईएआई के पूर्व राष्ट्रीय अध्यक्षए के कोठारी ने उदयपुर चैप्टर की स्थापना से लेकर अब तक की सारी गतिविधियों एवं आयोजन का लेखा जोखा (पावर पोइन्ट प्रजेंटेशन) द्वारा प्रस्तुत किया जिसमंे प्रमुख रूप से बताया कि 1998 से चैप्टर बनाया गया एवं इस चैप्टर नें आर्थिक सामाजिक एवं तकनीकी सहयोग देते हुये यहंा से 2 नेशनल प्रेसिडेंट बने हैं एवं कई सेमिनार ट्रेनिंग वर्कशॉप नेशनल एवं इंटरनेशनल स्तर पर आयोजित किये हैं तथा चैप्टर का स्वयं का एक ऑॅिफस कम हॉल बनाया है।
समारोह के विशिष्ठ अतिथि हिंदुस्तान ज़िंक लिमिटेड के मुख्य कार्यकारी अधिकारी अरूण मिश्रा ने प्रासांगिक ए.आई. के व्यावहारिक प्रयोग पर दृष्टांत देते हुये आनें वाले समय में इसकी बढती उपयोगिता पर संदेश दिया एवं खनन उद्योग में इस तकनीक का किस प्रकार उपयोग किया जा सकें इस पर प्रकाश डाला।
विशिष्ठ अतिथि खान एवं भू-विज्ञान विभाग के अतिरिक्त निदेशक महेेश माथुर ने बताया कि डिपार्टमेंट इंडस्ट्री के बढनें की तरफ सकारात्मक रूख एवं नियम बनाता है तथा खनन उधोग के प्रति जनमानस में सामाजिक नकारात्मकता को दूर करनें में प्रयासरत है।
रजत जंयती आयोजन सचिव हिंदुस्तान ज़िंक लिमिटेड के मुख्य प्रचालन अधिकारी प्रवीण शर्मा ने इस पूरे आयोजन की रूपरेखा से लगाकर इस आयोजन को उत्कृष्टता से सफल होने के कगार पर पहुँचाने की सारी प्रक्रिया को योजनाबद्ध पूरा किया। उन्होंने बताया कि राष्ट्रीय जीडीपी में 2 प्रतिशत से बढाकर 5 प्रतिशत तक करनें के लिये खनन का भविष्य तकनीक एवं ए.आई. के उपयोग से संभव होगा। हिंदुस्तान ज़िंक लिमिटेड ने इसी तरह पिछले वर्ष 1 मिलियन टन धातु का खनन किया।
कार्यक्रम की अध्यक्षता करते हुए संस्था के राष्ट्रीय उपाध्यक्ष एस एन माथुर ने बताया कि उदयपुर चैप्टर का कार्य सराहनीय है एवं इसी के आधार पर अहमदाबाद चैप्टर भी इससे प्रेरणा लेता रहता है। उन्होनें उदयपुर चैप्टर की आर्थिक सम्पन्ना एवं समप्रभुता को सराहा।
रजत जंयती आयोजन उद्घाटन सत्र के अंत मे डी. पी. गौड ने धन्यवाद की रस्म अदा की
रजत जयंति उदघाटन सत्र के पश्चात तकनीकी सत्र में विषय विशेषज्ञों नें ’’रोल ऑफ आर्टिफिशियल इंटेलिजेंस एण्ड ऑटोमेशन इन माईनिंग’’ विषय पर की नोट व्याख्यान दिये।
प्रो. सुशील भण्डारी पूर्व प्रोफेसर एवं डीन एमबीएम इंजिनियरिंग कॉलेज जोधपुर नें अपने व्याख्यान में बताया कि खनन गतिविधि के तहत कई स्टेट्स में मल्टीपल ऑपरेषंस करनें होते हैं। वर्तमान समय में इन सभी स्टेट्स में डिजीटलाइजेशन का उपयोग हो रहा है। डिजीटलाइज्ड डाटा से लागत में कमी, उत्पादकता में वृद्धि एवं खनन प्रैक्टिसेज का ट्रांसफोरमेषन हो रहा है। ऑटोमेाष्न, इंटरनेट ऑफ थिंगस एवं रियल टाइप डेटा का महत्वपूर्ण योगदान खनन विद्या में उपयोगी साबित हो रहा है।
केन्द्रीय रिसर्च संस्थान के पूर्व निदेशक प्रो. बी.बी. धर एक्रीडेशन स्कीम फॉर एक्सपलोरेशन/प्रोस्पेक्टिंग एजेंसी, (एपीए) एण्ड माईन प्लान प्रीपेयरिंग एजेंसी (एम पी पी ए) विषय पर बोलते हुये बताया कि क्वालिटी कॉसिंल ऑफ इंडिया द्वारा राष्ट्रीय एक्रीडेशन बोर्ड की स्थापना की गई है जो एक्सप्लोरेशन/प्रोस्पेक्टिंग एजेंसी एवं माईन प्लान बनानें वाली एजेंसियों को एक्रीडेशन प्रदान करेगी। इटली के प्रो. ल्युइगी, ससारिनि ने भी विषय विशेषज्ञ के तौर पर व्याख्यान दिया। इससे माईन प्लान एवं एक्सप्लोरेशन एजेंसीज के कंसलटेंट की योग्यता एवं गुणवता का निर्धारण होता है। इसमें कौन एजेंसी कंस्लटेंट में भूमिका निभा सकती है इसको विस्तार से समझाया है।
खनन अभियांत्रिकी सी टी ए ई के विभागाध्यक्ष प्रो. अनुपम भटनागर उदयपुर नें ’’रोल ऑफ आर्टिफिशियल इंटेलिजेंस एण्ड ऑटोमेशन इन माईनिंग’’ विषय पर बोलते हुये बताया कि खनन गतिविधियों में ड्रोन का उपयोग/इस्तेमाल से उच्च तकनीकी के इस्तेमाल के साथ ही दक्षता में बढोतरी, लागत में कमी, पर्यावरण कारणों का अच्छा प्रबंधन, सतत विकास एवं जोखिमों को कम करनें में मदद मिलती है।
प्रो. जी के प्रधान, डीन, फैक्लटी ऑफ इंजिनियरिंग एण्ड टेक्नोलोजी, ए के एस यूनिवर्सिटी सतना, मध्यप्रदेष नें अपनें व्याख्यान में बताया कि सभी पर्यावरण की रक्षा हेतु कार्य, सुरक्षित कार्यस्थल, मषीनरी का दक्षतापूर्ण उपयोग एवं कम्यूनिटी मिनरल्स संपति, गहरी और गहराई में जाती खदानों में स्पेयर पार्टस एवं कंज्यूमेबल्स की बढती कीमतें आदि को ध्यान में रखते हुये कमप्यूटराईजेशन एवं आधुनिक तकनीकों का उपयोग महती आवश्यकता बन पड़ी है।
सांयकालीन सत्र में एम ई ए आई राजस्थान चैप्टर उदयपुर की 25 वर्ष पूर्व स्थापना से लेकर आज तक रहे सभी अध्यक्ष एवं सचिव का भी अभिनंदन किया गया है, साथ ही 80 वर्ष एवं उपर के उम्रदराज सभी आजीवन सदस्यों जोहरी जितेन्द्र नाथ, डॉ एस एस राठौड़, आर डी सक्सेना, अरूण कुमार कोठारी, राजेन्द्र प्रसाद गुप्ता, एस एस पटेल, अखिलेश जोशी, डीपी गौड़, एच वी पालीवाल, प्रकाश चन्द्र कच्छारा, लक्ष्मीनारायण, वाई सी गुप्ता, ओम प्रकाश सोनी, वीपी उप्पल, केसीपी सिंह, हेमराज बांठिया, डॉ रणजीत चौधरी, आई एस सुराणा, प्रवीण शर्मा, महेश माथुर, ए के सक्सेना, हिरेन्द्र किशोर शर्मा, एम एस पालीवाल, मोती सिंह खमेसरा, राम निवास गोयल, जी एस शर्मा, डी एस मारू, एन सी बंसल, ऐ के मेघराज, दशरथ सिहं, चन्द्र लाल गोदावत, ए एस भाले राव, जग मोहन गुप्ता, मोहन लाल शर्मा, विष्णदत्त डिडवानिया, सेफुदीन सेफी, आसिफ एम अंसारी एवं केशवा राव के एम को भी अभिनंदन पत्र भेंट कर उन्हें सम्मानित किया गया। इस अवसर पर महिला अभियन्ता (खनन) का भी अभिनन्दन किया गया।
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