उदयपुर 18 मार्च 2020। वैश्विक महामारी कोरोना वायरस ने दुनिया की रफ़्तार पर एक तरह से लगाम लगा ली है। विश्व के लगभग तमाम देश इसकी चपेट में आ चुके है। चीन, इटली और ईरान में तबाही मचाने के बाद अमेरिका, ब्रिटेन, फ़्रांस, स्पेन, कुवैत, यूएई, इज़राइल, हांगकांग, मलेशिया, कनाडा, पाकिस्तान और भारत समेत लगभग सभी देशो में यह दहशत फैला रहा है।
कोरोना के चलते दुनिया के कई हिस्सों में लॉकडाउन और अघोषित कर्फ्यू की स्थिति हो गई है। शेयर बाज़ार भी कोरोना के प्रभाव से लगातार गिर रहा है। ऐसे में सबसे ज़्यादा प्रभावित कोई हुआ है तो वह पर्यटन बाजार है। झीलों की नगरी और वेडिंग डेस्टिनेशन के रूप में विख्यात लेकसिटी का पर्यटन व्यवसाय भी बुरी तरह से प्रभावित होता नज़र आ रहा है।
लेकसिटी के प्रमुख पर्यटन स्थलों की दो दिन की तस्वीरें भी यही बयान कर रही है न होटल में पर्यटक है और न ही पर्यटन स्थल पर कोई पर्यटक नज़र आता है। आज से 31 मार्च तक राजकीय संग्रहालयों व संरक्षित स्मारकों सहेलियों की बाड़ी, बागोर की हवेली, आहाड़ संग्रहालयों में सरकारी आदेश के चलते बंद कर दिए गए है।
पुरातत्व एवं संग्रहालय विभाग के निदेशक प्रकाश चन्द्र जैन ने बताया कि कोरोना वायरस के संक्रमण के बचाव हेतु भारत सरकार द्वारा जारी एडवाइजरी व दिशा-निर्देशों के क्रम में मुख्यमंत्री ने प्रदेश के सभी सार्वजनिक स्थलों पर 50 से अधिक लोगों के इकट्ठा होने पर प्रतिबंध लगाने के निर्देश दिए है।
इस संबंध में पुरातत्व एवं संग्रहालय विभाग के उदयपुर वृत्त के अधीक्षक डॉ. विनित गोयल ने बताया कि इस आदेश के क्रम में उदयपुर, आहड, चित्तौड़गढ़ व डूंगरपुर में जो राजकीय संग्रहालय है उनमें निर्धारित अवधि में पर्यटकों का प्रवेश निषेध रहेगा।
पर्यटन स्थल तो सूने नज़र आ ही रहे है, बल्कि पर्यटन स्थल से जुड़े छोटे मोटे कार्य कर अपना गुज़र बसर करने वालो पर इसकी सर्वाधिक मार पड़ रही सहेलियों की बाड़ी पर पार्किंग के ठेकेदार ने बताया की पिछले दिनों से जहाँ पहले इस सीजन में 150 से 250 गाड़ियाँ पार्क होती थी, संख्या घट कर 50 भी नहीं रह गई है। अब तो सहेलियों की बाड़ी 31 मार्च तक बंद ही हो गई है।
इसी प्रकार फतेहसागर पर नाव संचालको, ऊँट गाडी और घोडा गाड़ी वाले भी परेशान दिखे। एक घोडा गाड़ी (तांगा) चलाने वाले ने बताया की आज तो बोहनी भी नहीं हुई है। कोरोना के चलते फतेहसागर, पिछोला, सहेलियों की बाड़ी, लोक कला मंडल, सुखाड़िया सर्किल पर जहाँ पर्यटकों का मेला लगता था, आज सुनसान नज़र आ रहे है। कोई नज़र आ रहा है तो स्थानीय लोग और ठेले रेहड़ियों वाले नज़र आ रहे है। पर्यटक ढूंढने पर इक्का दुक्का ग्रुप नज़र आ जाता है।
सिर्फ कमज़ोर वर्ग ही नहीं होटल व्यवसाय और हेंडीक्राफ्ट व्यवसाय जगत भी बुरी तरह प्रभावित हुआ है। हाथीपोल के हेंडीक्राफ्ट व्यवसायी तैयबी एक्सपोर्ट्स के संचालक मुस्तन जयपुरी ने बताया पिछले सीज़न के मुकाबले इस वर्ष धंधा 20 फीसदी ही हुआ है। जबकि इस सीज़न में लेकसिटी में विदेशी पर्यटक खासी तादाद में मौजूद रहते है इस वर्ष कोरोना के चलते काफी गिरावट आई है।
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