गीतांजली इन्स्टिटियूट ऑफ टेक्नीकल स्टडीज डबोक उदयपुर (गिट्स), मैकेनिकल इन्जिनियरिंग व इलेक्ट्रिक इन्जिनियरिंग के संयुक्त तत्वाधान में इलेक्ट्रिक वाहन प्रौद्योगिकी पर 21 दिवसीय कार्यशाला का आयोजन किया गया। जिसमें संयुक्त ब्रान्च के विद्यार्थियों ने प्रदुषण रहित सौर ऊर्जा आधारित इलेक्ट्रिक वाहन बनाने की तकनीक सीखी।
संस्थान के निदेशक डॉ. एन. एस. राठौड ने इस अवसर पर कहा कि विश्व जनंसख्या लगातार बढती जा रही हैं। जनसंख्या बढने के साथ मनुष्य अपनी सुख सुविधाओं में बेदहासा बढोतरी कर रहा हैं। जिससे वह जाने अनजाने ऐसी संसाधनों का प्रयोग कर रहा हैं जिससे पूरा पर्यावरण प्रदुषित हो रहा हैं। अगर विश्व में ऐसी प्रदुषण बढता रहा तो ग्रीन हाउस गैसों में लगातार हो रही बढोत्तरी से मानव जीवन के अस्तित्व पर संकट खडा हो गया हैं। इसलिए हमें अपनी सुख सुविधाओं के लिए अन्य विकल्पों पर ध्यान देना होगा।
उन्होंने कहा कि ग्रीन ऊर्जा को बढावा देने तथा सौर ऊर्जा आधारित वाहनों को बढावा देने के उद्देश्य से इस कार्यक्रम का आयोजन किया गया। जिसमें इलेक्ट्रिकल व मैकेनिकल इन्जिनियरिंग के विद्यार्थियों ने बढचढ कर हिस्सा लेकर प्रदुषण रहित वाहन बनाने के गुण सीखे।
मैकेनिकल इन्जिनियरिंग विभागाध्यक्ष डॉ. दीपक पालीवाल के अनुसार इस कार्यशाला के दौरान विद्यार्थियों द्वारा जयपुर के विजन ऑटोमेशन प्राइवेट लिमिटेड के विशेषज्ञों के सानिध्य में फॉर सीटर इलेक्ट्रिक कार बनाई गई। इस कार का उपयोग कैम्पस परिसर में आगन्तुक मेहमानों को प्रवेश द्वारा से गंतव्य स्थान तक ले जाने के लिए किया जा रहा हैं।
भविष्य के उन्नत सौर ऊर्जा आधारित वाहनों की खोज में रूचि एवं नवाचार से विकास में तेजी लाने के लिए विद्युत वितरण निगम जयपुर की इन्जिनियर नेहा सक्का ने विद्यार्थियों को इलेक्ट्रिक वाहन के बारिकियों के बारे में अवगत कराया। विदित हो कि मिस सक्का ई.वी. अवेयरनेस प्रोग्राम के तहत पांच सौ से अधिक युवाओं को प्रशिक्षण दे चुकी हैं। साथ ही भारी उद्योग मंत्रालय भारत सरकार के कर कमलों द्वारा नेशनल एक्सीलेंस एज्यूकेशन अवार्ड 2022 से सम्मानित हो चुकी हैं।
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