उदयपुर 5 जून 2025। ज़िले में लगातार हो रही आपराधिक घटनाओं को देखते हुए जिला पुलिस अधीक्षक योगेश गोयल ने सुरक्षा की दृष्टि से एक महत्वपूर्ण आदेश जारी किया है। इसके तहत अब मकान मालिक, संस्थान संचालक, दुकानदार और अन्य जिम्मेदार व्यक्तियों को अपने किरायेदार, घरेलू नौकर, ड्राइवर, चौकीदार, निजी कर्मचारी, सेल्समैन आदि का पुलिस सत्यापन कराना अनिवार्य कर दिया गया है।
पुलिस के अनुसार, शहरी और ग्रामीण क्षेत्रों में कई स्थानों पर बिना किसी पुलिस सत्यापन और पर्याप्त व्यक्तिगत जानकारी के लोग सेवाओं में रखे जा रहे हैं। इनमें से कई मामलों में पूर्व में हत्या, लूटपाट, चोरी जैसे गंभीर अपराधों को अंजाम देने वाले आरोपी भी शामिल रहे हैं। ऐसे लोग देश और समाज विरोधी गतिविधियों में लिप्त पाए जा सकते हैं।
जिला पुलिस अधीक्षक ने राजस्थान पुलिस अधिनियम की धारा 45 के अंतर्गत मिले अधिकारों का प्रयोग करते हुए यह निर्देश जारी किया है कि घरों और संस्थानों में काम पर रखे जाने वाले सभी व्यक्तियों की पहचान सुनिश्चित की जाए और उनका मोबाइल नंबर, पहचान पत्र और अन्य आवश्यक जानकारी रिकॉर्ड की जाए।
नए नियम के तहत किसी भी व्यक्ति को सेवा में रखने से पहले या अधिकतम 15 दिनों के भीतर पुलिस सत्यापन कराना अनिवार्य होगा। यह सत्यापन राजस्थान पुलिस वेब पोर्टल या ई-मित्र केंद्र के माध्यम से ऑनलाइन किया जा सकता है, वहीं संबंधित थाने में जाकर ऑफलाइन आवेदन भी किया जा सकता है।
इस आदेश का पालन नहीं करने पर संबंधित व्यक्ति के विरुद्ध भारतीय न्याय संहिता के अंतर्गत विधि अनुसार कार्रवाई की जाएगी। पुलिस का कहना है कि यह कदम नागरिकों की सुरक्षा और कानून व्यवस्था को सुदृढ़ बनाए रखने के उद्देश्य से उठाया गया है।
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