उदयपुर। क्रिसमस के आगमन से पूर्व मसीही परिवारों और कलिसियाओं में “कैरल गायन” (Carol) बड़े ही जोर-शोर से किया जाता है। उसी परम्परा को अनवरत जारी रखते हुए रविवार को सायं उदयपुर क्रिश्चियन फैलोशिप के बैनर तले 57वें जॉइन्ट क्रिसमस कैरल कार्यक्रम का आयोजन स्थानीय राजस्थान पेंटीकॉस्टल चर्च परिसर में किया गया।
कार्यक्रम की शुरुआत गुड शेपर्ड चर्च के पादरी विलसेन्ट आर की प्रार्थना से की गई। उसके पश्चात आर पी सी के मुख्य पासबान डॉ. पॉल मैथ्यूस ने सभी पधारे हुए अतिथियों को स्वागत किया। तत्पश्चात पवित्र बाइबल से वाचन किया गया।
कैरल गायन के लिए शहर की सभी कलिसियाओं को आमंत्रित किया गया। सर्वप्रथम ऑवर राइजेसनस चर्च, अपोस्टोलिक ग्रेस मिनिस्ट्री, बेतल पेंटीकॉस्टल चर्च, गुड शेपर्ड और सैन्ट अलफोन्स चर्च की क्वायर ने प्रभु यीशु मसीह के जन्म पर आधारित गीतों की प्रस्तुति से समां बांधा।
इसके पश्चात एबनेजर ब्रदरएन असेंबली, मेथोडिस्ट चर्च, एम्मानुएल मारथोमा चर्च, ऑवर लेडी ऑफ फातिमा कैथेड्रल चर्च, कलवरी कवनन्ट चर्च, बिलिवर्स ईस्टर्न चर्च और आर पी सी की क्वायर ने अपने अपने गीतों के माध्यम से प्रभु की महिमा की।
इस अवसर पर कार्यक्रम के मुख्य अतिथि बिशप देवप्रसाद गणावा ने अपने संक्षिप्त उद्बोधन में उपस्थित समुदाय को प्रभु यीशु के जन्म लेने और जीवन को सार्थक बनाने पर सन्देश दिया साथ ही सन्देश के माध्यम से प्रश्न भी किया की हम प्रभु यीशु को अपने जीवन में कहाँ स्थान देते हैं?
अंत में पादरी मनोहर कला ने प्रार्थना की। धन्यवाद के शब्द यू सी एफ के संयुक्त सचिव पास्टर रतनकुमार ने ज्ञापित किए। अंत में स्थानीय चर्च के पासबान डॉ. पॉल मैथ्यूस ने सभी अतिथियों को धन्यवाद ज्ञापित किया और क्वायर के “साइलन्ट नाइट होली नाइट” गीत के साथ कार्यक्रम का समापन किया गया।
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