प्रबुद्ध चिंतन प्रकोष्ठ की 22वीं मासिक बैठक


प्रबुद्ध चिंतन प्रकोष्ठ की 22वीं मासिक बैठक

विज्ञान समिति द्वारा संचालित प्रबुद्ध चिंतन प्रकोष्ठ की 22वीं मासिक बैठक विज्ञान समिति सभागार में हुई जिसमें ‘‘उदयपुर में जिला कलेक्ट्रेट, कोर्ट एवं अन्य राज्य सरकार के कार्यालयों को अन्य स्थान पर स्थानांतरण की आवश्यकता एवं औचित्य’’ विषय पर वास्तुविद एवं इंजीनियर बी.एल.मंत्री; पूर्व अधीक्षण अभियंता जल संसाधन श्री जी.पी. सोनी एवं विज्ञान समिति के कार्यकारी अध्यक्ष डॉ. एल.एल. धाकड़ ने अपने विचार एवं सुझाव प्रजेन्टेशन के माध्यम से रखे।

 

विज्ञान समिति द्वारा संचालित प्रबुद्ध चिंतन प्रकोष्ठ की 22वीं मासिक बैठक विज्ञान समिति सभागार में हुई जिसमें ‘‘उदयपुर में जिला कलेक्ट्रेट, कोर्ट एवं अन्य राज्य सरकार के कार्यालयों को अन्य स्थान पर स्थानांतरण की आवश्यकता एवं औचित्य’’ विषय पर वास्तुविद एवं इंजीनियर बी.एल.मंत्री; पूर्व अधीक्षण अभियंता जल संसाधन श्री जी.पी. सोनी एवं विज्ञान समिति के कार्यकारी अध्यक्ष डॉ. एल.एल. धाकड़ ने अपने विचार एवं सुझाव प्रजेन्टेशन के माध्यम से रखे।

इनके अतिरिक्त एन.सी.बंसल, आर.सी. भटनागर, डॉ. के.एल. मेनारिया, एस.के. गुप्ता आदि ने चर्चा में भाग लेते हुए उदयपुर में यातायात व्यवस्था, पर्यटकों के लिए सुविधा, पर्यावरण संरक्षण, कार्यालय में कार्य हेतु पर्याप्त स्थान की उपलब्धता एवं वाहन पार्किंग व्यवस्था आदि बिंदुओं को ध्यान में रखते हुए 75 वर्ष पूर्व बने हुए इन कार्यालयों को अन्य उपयुक्त स्थान पर अगले 50 वर्षों की आवश्यकता को ध्यान में रखते हुए स्थानांतरण हेतु अनेक सुझाव दिए।

इसके अतिरिक्त उदयपुर मास्टर प्लान मंे इन कार्यालयों के लिए आरक्षित स्थान बड़ी रोड़ पर पुलिस द्वारा 76 एकड़ पर किए गए वृक्षारोपण क्षेत्र पर, जनजाति विश्वविद्यालय के पास 176 एकड़ एवं भुवाणा बाईपास पर 77.5 एकड़ क्षेत्र पर भी इन कार्यालयों को स्थानांतरित करने का विचार किया गया।

सभी बिन्दुआंे पर गहन विचार मंथन करते हुए सर्वसम्मति से यह सुझाव उभरकर आया कि वर्तमान में पुलिस लाईन, केन्द्रीय कारागृह, जे.सी. बोस हॉस्टल, आर्मी कन्टेनमेंट क्षेत्र(रेलवे स्टेशन के पास) पर कलेक्ट्रट, कोर्ट एवं संबंधित कार्यालयों को स्थापित किया जावे। भविष्य में हाईकोर्ट बंेच भवन के लिए भी यह स्थान सर्वाधिक उपयुक्त रहेगा। उपरोक्त स्थान शहर के मध्य विशाल क्षेत्र है और जहां सभी दिशाओं की सड़कों से जुड़ा हुआ है, ग्रामीण क्षेत्रों एवं अन्य जिलों से आने वाले रेल एवं बस सेवा से भी नजदीक हैं।

इसके साथ केन्द्रीय कारागृह एवं पुलिस लाईन को मास्टर प्लान में आरक्षित उमरड़ा क्षेत्र में क्रमशः 141 एवं 121 एकड़ क्षेत्र में स्थानांतरित किया जाना चाहिए। इस सारे कार्य को उदयपुर में 120 करोड़ रू. की लागत से उदयापोल से कलेक्ट्रट तक बनने वाले फ्लाई ऑवर की लागत से पूर्ण किए जा सकते हैं। कलेक्ट्रेट कोर्ट कार्यालय स्थानांतारित होने के पश्चात् यहां पर भूतल पार्किंग, पर्यटक सुविधाएं, भव्य म्यूजियम एवं सिटी सेन्टर बनाने के लिए उपयोग में लिये जा सकंेगे।

प्रकोष्ठ के सदस्यों की सामान्य राय यह बनी कि कलक्ट्रेट एवं अन्य कार्यालयों का स्थानांतरण एवं अन्यत्र निर्माण करके हम नगर की अनेक जन समस्याओं का समाधान बिना किसी अतिरिक्त खर्च के कर सकते हैं तथा फ्लाई ऑवर बनने से सांस्कृतिक को होने वाले नुकसान से शहर को बचा सकते हैं। इस प्रकोष्ठ के संयोजक मुनीश गोयल ने कार्यक्रम का संयोजन किया एवं धन्यवाद दिया।

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