गीता पटेल प्रकरण पर भाजपा का विरोध प्रदर्शन


गीता पटेल प्रकरण पर भाजपा का विरोध प्रदर्शन

भारतीय जनता पार्टी शहर एवं देहात जिला उदयपुर द्वारा देहात महामंत्री डॉ. गीता पटेल प्रकरण में षड्यंत्रकारियों एवं

 

गीता पटेल प्रकरण पर भाजपा का विरोध प्रदर्शन

भारतीय जनता पार्टी शहर एवं देहात जिला उदयपुर द्वारा देहात महामंत्री डॉ. गीता पटेल प्रकरण में षड्यंत्रकारियों एवं नामजद अपराधियों के खिलाफ कानूनी कार्यवाही नहीं होने पर आज कलेक्ट्री के सम्मुख विशाल धरना देकर प्रदर्शन किया गया।

प्रदर्शन में पूर्व गृहमंत्री नगर विधायक गुलाबचन्द कटारिया ने उपस्थित लोगों को सम्बोधित करते हुए कहा कि डॉ. गीता पटेल को पार्टी ने एक जिम्मेदारी दी और उस जिम्मेदारी को किसानों के हित में निवर्हन करते हुए बखूबी निभाया। एक सामान्य कार्यकर्ता के रूप में कार्य करते हुए निरन्तर प्रगति पथ पर बढ़ता हुआ अन्य प्रतिद्वंद्वियों को सहन नहीं हुआ और किस तरह एक कार्यकर्ता का षड्यंत्र के रूप में राजनैतिक शिकार किया गया इस पूरे प्रकरण को देखने के बाद यह सिद्ध हो जाता है। गीता पटेल ने इस डेयरी के माध्यम से आम काश्तकारों का भला करने का प्रयास किया। प्रयास ही नहीं किया अपितु इसमें सफलता तक प्राप्त की। आज भारी तादाद में जिस तरह से काश्तकार अपने मन से इस धरने पर उपस्थित हुआ है यह केवल उसके प्रति पटेल के समर्पण का प्रभाव है। कटारिया ने पूरे जोर से यह कहा कि जिस-जिस तारिखों एवं समय पर गीता पटेल से मांग सत्यापन बताया गया और जो रिपोर्ट मैने (कटारिया) देखी तो अवाक् रह गया। हमारी मोबाईल टावर लोकेशन भी यह सिद्ध करती है कि गीता पटेल घर पर उपस्थित नहीं थी। मैंने एसीबी के महानिदेशक को स्वयं पत्र लिखकर इसकी निष्पक्ष जांच के लिए आग्रह किया। जब जांच पूरी हुई तो उसमें वही निकला जो हमारी शंका में था। यह दूसरी महिला की आवाज में एक जिम्मेदार महिला को षड्यंत्रपूर्वक फंसाने की सोची समझी साजिश के तहत किया गया एक ड्रामा था। कटारिया ने पूरे जोश से कहा कि जब तक गीता पटेल को आरोप मुक्त नहीं कर दिया जाता तब तक कार्यकर्ता सड़कों पर लड़ाई हेतु तैयार रहेंगे। उन्होंने प्रशासन से मांग की है कि डॉ. गीता पटेल को आरोप मुक्त करें। इसकी जो रिपोर्ट तैयार हुई है उसे न्यायालय में पेश करें और जो आरोपी हैं, वो कितने भी रसूखदार क्यों ना हो षड्यंत्रकारियों को जेल भेजा जाये तथा उन पर मुकदमा चलाया जाए। इससे पूर्व धरने को सम्बोधित करते हुए डॉ. गीता पटेल ने सम्पूर्ण जानकारी उपस्थित जन समुदाय को देते हुए बताया कि किस तरह से गेहरीलाल डांगी ने संदीप लक्षकार, सुनील सुथार एवं विमला सोनी उर्फ बंटी के साथ मिलकर षड्यंत्र को अंजाम दिया। उन्होंने कहा कि डेयरी अध्यक्ष रहते हुए हर काश्तकार को उसकी मेहनत का प्रतिफल दिलाने हमेशा प्रयासरत थी और हमेशा किसानों के हित में लड़ती रहूंगी पद हो या ना हो। जिस तरह से एक प्रतिष्ठित महिला को अपमानित करने का षड्यंत्र रचा गया उसके दोषियों को ऐसी सजा मिले जिससे भविष्य में इस तरह का कुत्सित अपराध की पुनरावर्ति ना हो। प्रदेश मंत्री प्रमोद सामर ने धरने का सम्बोधित करते हुए कहा कि इस प्रकरण में प्रशासनिक आधार पर षड्यंत्रकारियों की पुष्टि प्रमाणित हो चुकी है फिर भी अपराधी बुलन्द हौसलों के साथ खुलेआम घुम रहे हैं और निर्दोष डॉ. पटेल को अपराधी के नाते खड़ा कर रखा है। प्रदेश मंत्री ने कहा कि सभी प्रकार की जांच हो चुकी है, पर्याप्त साक्ष्य मिल गये हैं, प्रशासन को चाहिये कि गद्दारों और षड्यंत्रकारियों को गिरफ्तार करें एवं उन्हें ही नहीं इस खेल में जितने नाम सामने आये हैं उनको भी बेपर्दा करें और उन्हें भी इसकी सजा मिले। तभी एक कार्यकर्ता के स्वाभिमान की रक्षा हो पाएगी। पूर्व विधानसभा अध्यक्ष शांति लाल चपलोत भी कार्यक्रम में मौजूद थे। जहाँ एक तरफ इसको लेकर प्रदर्शन चल रहा था वही दूसरी ओर बी.जे.पी के सदस्य गहरी लाल डांगी ने आज बुलवाई प्रेस वार्ता में पत्रकारों से कहा कि इस सब मामले में मेरी किसी भी प्रकार की कोई भागीदारी नहीं है। उन्होंने कहा कि जो भी फ.आई.आर दर्ज करवाई थी उसमें भी मेरा कोई नाम नहीं था। डांगी ने कहा कि उनको इस मामले में जबरदस्ती फसाया गया है और साथ ही बी.जे.पी टीम से निकाल दिया गया है। डांगी ने कहा कि इन सबको लेकर वह और उनका परिवार मानसिक उत्पीड़न से गुजर रहे है। उन्होंने इसको लेकर मुख्यमंत्री अशोक गहलोत को भी अनुरोध पत्र भेजा है जिसमें उन्होंने कहा कि इसका जल्द से जल्द हल निकाला जाए।

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