
अंतर्राष्ट्रीय महिला दिवस के मौके पर महिला शक्ति ने उदयपुर जिले में ऐतिहासिक कमाल दिखा दिया जब कुछ घण्टे की मेहनत से इन महिलाओं ने देखते ही देखते एक एनिकट को आकार दे डाला और यह दिखा दिया कि आधा आसमाँ किसी से कम नहीं।
यह गजब का दृश्य मंगलवार को दिखा उदयपुर जिले के ऋषभदेव क्षेत्र के गड़ावत गांव में, जहाँ मुख्यमंत्री जल स्वावलंबन अभियान में 45 स्वयं सहायता समूहों की सैंकड़ों महिलाओं ने श्रमदान कर महिला सशक्तीकरण का अनूठा उदाहरण प्रस्तुत किया। चंद घंटों के अथक श्रमदान के बाद बूझ वाला एनीकट की पूरी की पूरी पाल बना डाली।
ऋषभदेव के निकटवर्ती गड़ावत पंचायत क्षेत्र में टूट चुके गड़ावत एनीकट के पुनर्निर्माण में करीब एक हजार महिला-पुरुषों ने श्रमदान कर भागीदारी निभाई। अपने गांव के लिए पेयजल, सिंचाई के स्रोत के सुदृढ़ीकरण के लिए अल सुबह स्वयं सहायता समूहों की महिलाओं ने इतनी बड़ी संख्या में पहुंचकर मेले सा माहौल बना दिया। जल स्वावलंबन के प्रति महिलाओं की एकजुटता व उत्साह जिसने देखा दंग रह गया।
श्रमदान कार्यक्रम के लिए पहुंचे मुख्य कार्यकारी अधिकारी अविचल चतुर्वेदी, उपखण्ड अधिकारी शैलेश सुराणा, तहसीलदार मनसुखराम डामोर, विकास अधिकारी संजय जैन आदि ने स्वयं श्रमदान में भागीदारी निभाकर ग्रामीणों की हौसला अफजाई की।
एनीकट के लिए बड़े टीले से विशालकाय शिलाखण्ड को धकेलने में सभी ने एकजुट ताकत लगाई और सामूहिक मानव श्रम की ताकत का परिचय दिया।
देखते ही देखते एनीकट निर्माण कार्य तीव्र गति से बढ़ने लगा वहीं सीईओ के निर्देश पर जेसीबी मंगवाई गई तो ग्रामीणों ने काम कोे तेजी से पूरा कने में अपनी पूरी शक्ति झोंक दी। देखते ही देखते एनीकट की पाल आकार लेने लगी तथा चंद घंटों में ही यह कार्य पूरा कर दिया गया।
इस मौके पर उप जिला प्रमुख सुंदरलाल भाणावत ने स्वयं सहायता समूहों के प्रयासों की सराहना करते हुए कहा कि वे सरकारी योजनाओं का लाभ उठाने के लिए जागरूक रहंे।
समारोह में मुख्य कार्यकारी अधिकारी अविचल चतुर्वेदी ने कहा कि पहले शिक्षा की दृष्टि से महिलाएं पीछे थीं लेकिन वे अब हर क्षेत्र में अग्रणी हैं। स्वरोजगार के क्षेत्र में भी महिलाएं आर्थिक आत्मनिर्भर हो रही है। उन्होंने जल स्वावलंबन अभियान को राज्य का सर्वोच्च प्राथमिकता आधारित अभियान बताते हुए कहा कि पानी से ही राज्य की समृद्धि संभव है, ऐसे में हर वर्ग को इसमें समर्पित भागीदारी निभाने की जरूरत है।
उन्होंने गड़ावत गांव में स्कूल के समीप बने पक्के एनीकट का भी अवलोकन किया और इसे डिसिल्टिंग वर्क में शामिल करने का भरोसा दिलाया।
समारोह में प्रधान श्रीमती सविता मीणा, राजीविका के जिला परियोजना प्रबंधक आर.के. अग्रवाल ने भी संबोधित करते हुए स्वयं सहायता समूहों की गतिविधियों पर चर्चा की। समारोेह में स्थानीय सरपंच रूपलाल सहित बड़ी संख्या में ग्रामीण एवं विभिन्न विभागों के पदाधिकारी मौजूद थे।