31 मार्च तक पीएफ की घोषणा नहीं की तो अप्रैल से होगी कार्रवाई
योजना के तहत नियोक्ताओं 2009 से 2016 के बीच नियुक्त हुए कर्मचारियों ने यदि किसी कारण से नियोक्ता पीएफ नहीं जमा करा सके तो अब बकाया पीएफ राशि की घोषणा कर सकते है। उसे केवल अपना शेयर ही जमा कराना होगा। यदि नियोक्ता ने कर्मचारी से बराबर शे
देश में अधिक से अधिक कर्मचारियों को पीएफ की सामाजिक सुरक्षा का लाभ देने के मकसद से भविष्य निधि संगठन ने एक जनवरी से कर्मचारी नामांकन घोषणा योजना लांच की। उदयपुर भविष्य निधि कार्यालय के तहत आने वाले जिलों में से अब तक 197 कंपनियों ने अपने 2500 कर्मचारियों का पीएफ घोषित किया है। उदयपुर के क्षेत्रीय आयुक्त धनवंत सिंह ने बताया कि विभाग की यह योजना 31 मार्च तक लागू रहेगी। इसके बाद विभाग कंपनियों पर कार्रवाई शुरू करेगा।
गौरतलब है कि योजना के तहत जो कर्मचारी किसी कारण से पीएफ नहीं जमा करा सके वे पीएफ जमा करा सकते हैं। नियमानुसार नियोक्ता को पीएफ राशि के साथ ब्याज भी जमा कराना होगा। लेकिन उसे पेनॉल्टी (25 प्रतिशत तक) में छूट मिलेगी। योजना के तहत कर्मचारी नामांकन की घोषणा विभाग की साइट पर ऑनलाइन करनी होगी। इसके बाद 15 दिनों के अंतराल में राशि भी जमा करानी होगी।
योजना के तहत नियोक्ताओं 2009 से 2016 के बीच नियुक्त हुए कर्मचारियों ने यदि किसी कारण से नियोक्ता पीएफ नहीं जमा करा सके तो अब बकाया पीएफ राशि की घोषणा कर सकते है। उसे केवल अपना शेयर ही जमा कराना होगा। यदि नियोक्ता ने कर्मचारी से बराबर शेयर लिया तो उसे कर्मचारी व अपना दोनों ही शेयर विभाग को ब्याज सहित देने होंगे। पीएफ विभाग की योजना के तहत मार्च 2017 के नियोक्ता बकाया पीएफ की घोषणा कर सकते हैं। मार्च के बाद विभाग नियोक्ता पर कानूनी कार्रवाई, ब्याज व पेनॉल्टी वसूल करेगा।
Source: Dainik Bhaskar
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