सिर्फ किसान ही पैदा करता है पैसा: कटारिया
गृहमंत्री गुलाबचंद कटारिया ने कहा कि पैसा सिर्फ किसान ही पैदा करता है। बाकी सब तो इधर से उधर करते हैं। पैसा पैदा करने वाला देष में एकमात्र किसान है। अगर वह खुशहाल होगा तो यकीनन राज्य के बाद देष की जीडीपी पर भी उल्लेखनीय असर होगा। किसान किसी भी हाल में दुखी नहीं होना चाहिए, आज यह देखने की जरूरत है। इसके लिए स्वयंसेवी संगठनों को आगे आना चाहिए।
गृहमंत्री गुलाबचंद कटारिया ने कहा कि पैसा सिर्फ किसान ही पैदा करता है। बाकी सब तो इधर से उधर करते हैं। पैसा पैदा करने वाला देष में एकमात्र किसान है। अगर वह खुशहाल होगा तो यकीनन राज्य के बाद देष की जीडीपी पर भी उल्लेखनीय असर होगा। किसान किसी भी हाल में दुखी नहीं होना चाहिए, आज यह देखने की जरूरत है। इसके लिए स्वयंसेवी संगठनों को आगे आना चाहिए।
वे भारत विकास परिषद ‘आजाद’ के दायित्व ग्रहण समारोह को समारोधिपति के रूप में संबोधित कर रहे थे। उन्होंने कहा कि राज्य सरकार भी किसान के लिए अच्छी योजना लेकर आई है। नरेगा के तहत किसान अपने खेत में तीन लाख रुपए तक के काम करवा सकेगा। भाविप जैसे संगठनों को आगे आकर किसानों की तलाश करने और उन्हें समझाकर मोटिवेट करने की जरूरत है।
और कोई सेवा कार्य नहीं करो तो भी चलेगा लेकिन अगर वर्ष में एक भी किसान को खुशहाल बना दिया तो कई जिन्दगियां खुशहाल कर देंगे। इसी प्रकार दसवीं में फेल होने के बाद पूर्ण निराशा में डूबे बच्चों की तलाश कर उन्हें उचित कोचिंग दिलवाकर उसे किसी मकाम तक पहुंचा दिया तो अपना जीवन सफल मान लेना। ये दो बहुत बड़े काम हैं।
दृढ़ निष्चय कर लें कि बदलाव लाकर छोड़ूंगा। अन्यथा तो रोजाना टीवी देखकर समय बर्बाद करना बहुत आसान है। और कुछ भी इस जीवन में वापस आ सकता है लेकिन बीता हुआ समय कभी वापस नहीं आएगा। अपना क्षण क्षण कीमती समझें और उसका सदुपयोग करें। उन्होंने कहा कि भले ही आजादी के बाद भारत विकास परिषद की स्थापना हुई लेकिन आज देष में सर्वाधिक शाखाओं वाली संस्था है।
जो कार्यक्रम संस्कार न डाले, वह आमोद-प्रमोद का कार्यक्रम बन जाता है। भाविप जो प्रकल्प लेते हैं, वह धरातल तौर पर होता है और उसका असर भी दिखता है।
अध्यक्षता करते हुए महापौर चन्द्रसिंह कोठारी ने कहा कि प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी की इच्छानुसार 2019 तक देश को स्वच्छ बनाना है। उसी क्रम में निगम कई काम कर रहा है। निगम अपने स्तर पर कचरा उठाने के लिए फिलहाल निशुल्क टेम्पो चला रहा है। प्रति घर से 40 रुपए शुल्क रखा गया है जो बहुत ही उचित है।
अगर घर-दुकान, फैक्ट्री से कचरा सडक़ पर आया तो हाथों हाथ आपको जुर्माने की रसीद थमा दी जाएगी। हालांकि हम भी नहीं चाहते कि जुर्माना भरना पड़े लेकिन नियम तो कई समय से बने हुए हैं। सख्ती के अभाव में नियम लागू नहीं हो पाते। इसलिए इस बार सख्ती करना आवश्यक हो गया है। शहर फैल रहा है, उसी अनुपात में फायर स्टेशन भी अलग अलग खोले जा रहे हैं ताकि आकस्मिक घटना में हाथों हाथ राहत मिल सके।
उन्होंने कहा कि हालांकि एनजीओ तो बहुत हैं लेकिन उनमें से कई के आका विदेषों में हैं। भारत विकास परिषद ऐसी संस्था है जिसका सारा पैसा यहीं खर्च होता है। कहीं बाहर नहीं भेजना पड़ता। साथ ही भाविप में राष्ट्रीयता का बोध होता है। अन्य संगठनों में कहीं न कहीं राष्ट्रीयता का अभाव है। नवनिर्वाचित अध्यक्ष विनोद सिसोदिया एवं सचिव राकेश नंदावत को शुभकामनाएं देते ुहए कहा कि कार्यकाल तो सीमित रहता है लेकिन उसमें कोई काम ऐसा कर जाएं जेा मील का पत्थर साबित हों।
मुख्य अतिथि चित्तौडग़ढ़ पुलिस अधीक्षक प्रसन्न कुमार खमेसरा ने कहा कि भाविप के सेवा कार्य अनुकरणीय हैं। मेवाड़ में विषेषकर सभी जगह भाविप ने राष्ट्रीय एकता का काम किया है। पूर्वाध्यक्षों का स्मरण रखना भी सराहनीय है।
भाविप के प्रांतीय अध्यक्ष डॉ. जयराज आचार्य ने कहा कि 52 वर्ष पूर्व परिषद की स्थापना हुई थी। आज संभाग के पांच जिलों में 40 से अधिक शाखाएं काम कर रही हैं। भाविप के माध्यम से गांवों को गोद लेने का हमने निर्णय किया और आज करीब 50 से अधिक गांव गोद लेकर उनका विकास किया जा रहा है। विकलांगता के लिए काम करने पर परिषद को राज्य स्तर पर तीन बार पुरस्कार भी मिल चुका है।
नवनिर्वाचित अध्यक्ष विनोद सिसोदिया ने अपने आगामी एक वर्ष के कार्यकाल में पांच सूत्रों सम्पर्क, सेवा, समर्पण, सहयोग और संस्कार के माध्यम से काम करने का संकल्प दिलाया। स्वच्छता पर विशेष कार्य करने के साथ, चिकित्सा षिविर लगाना, चन्द्रषेखर आजाद की प्रतिमा स्थापित करने का प्रयास करना सहित अन्य कार्ययोजना बताई।
मेम्बरशिप स्मार्ट कार्ड का अतिथियों ने विमोचन किया। युवा गौरव अवार्ड से डॉ. लिपि, निधि, दिव्यांषु कोठारी, देवेष बापना, राघवेन्द्रसिंह राठौड़, कविष सिसोदिया को सम्मानित किया गया। परिषद के सभी पूर्वाध्यक्षों कन्हैयालाल धाबाई, विजय गोधा, दिलीपसिंह राठौड़, डॉ. सुरेन्द्र कोठारी, राव नरपतसिंह, दलपतसिंह जैन, चंदा गोधा आदि का उपरणा ओढ़ा स्मृति चिन्ह भेंटकर सम्मानित किया गया। अतिथियों का मेवाड़ी पगड़ी, उपरणा एवं माला पहनाकर अभिनंदन किया गया।
समारोह में आजाद रत्न से नारायणलाल नागदा और नरेश सिंघवी तथा भामाशाह सम्मान शांतिलाल सरूपरिया, वरधान मेहता को सम्मानित किया गया। आरंभ में स्वागत गीत आषा मेहता ने प्रस्तुत किया। वंदेमातरम गीत की प्रस्तुति राजकुमारी भार्गव एवं मंजू बापना ने दी। कार्यक्रम का सफल संचालन डॉ. लिपि ने किया। कार्यक्रम संयोजन राव नरपतसिंह ने किया। आभार परिषद के सचिव राकेश नंदावत ने व्यक्त किया। अंत में राष्ट्रगान उषा सिसोदिया, पुष्पा शर्मा एवं चंदा पुष्करणा ने प्रस्तुत किया।
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