विज्ञान समिति महिला प्रकोष्ठ का वार्षिकोत्सव आयोजित
विज्ञान समिति के वरिष्ठ महिला एवं नवाचार महिला प्रकोष्ठ का वार्षिकोत्सव झनकार अशोकनगर स्थित विज्ञान समिति में आयोजित किया गया। समारोह में रंगारंग सांस्कृतिक कार्यक्रम के साथ-साथ महिलाओं द्वारा प्रस्तुत की गई नाटिकाओं ने समारोह में उपस्थित सैकड़ों दर्शकों को हंसा । समारोह की मुख्य अतिथि राष्ट्रीय महिला आयोग की पूर्व अध्यक्ष डाॅ. गिरिजा व्यास, विशिष्ठ अतिथि डाॅ. सुमनसिंह, डाॅ. कल्पना जैन, डाॅ.ऋतु सिंघवी, प्रीति सोगानी, आशा कुणावत, सुश्री बीना सनाढ्य, डाॅ. बी.एस.बापना थे।
विज्ञान समिति के वरिष्ठ महिला एवं नवाचार महिला प्रकोष्ठ का वार्षिकोत्सव झनकार अशोकनगर स्थित विज्ञान समिति में आयोजित किया गया। समारोह में रंगारंग सांस्कृतिक कार्यक्रम के साथ-साथ महिलाओं द्वारा प्रस्तुत की गई नाटिकाओं ने समारोह में उपस्थित सैकड़ों दर्शकों को हंसा । समारोह की मुख्य अतिथि राष्ट्रीय महिला आयोग की पूर्व अध्यक्ष डाॅ. गिरिजा व्यास, विशिष्ठ अतिथि डाॅ. सुमनसिंह, डाॅ. कल्पना जैन, डाॅ.ऋतु सिंघवी, प्रीति सोगानी, आशा कुणावत, सुश्री बीना सनाढ्य, डाॅ. बी.एस.बापना थे।
इस अवसर पर डाॅ. व्यास ने कहा कि महिलाओं की सर्वव्यापी प्रगति की आवश्यकता है लेकिन सभी को साथ लेकर चलना भी पारिवारिक शान्ति एवं समृद्धि के लिये आवश्यक नहीं भारतीय संस्कृति के लिये अनुसार महत्वपूर्ण है।
समारोह में जहाँ युवतियों ने नृत्य में अपनी प्रतिभायें दिखायी तो 65 पार महिलाओं ने नृत्य एवं हास्य नाटिकाओं के माध्यम से सभी को तालियां बजाने एवं हसंने पर मजबूर कर दिया। महिलाओं ने पारम्परिक वेषभूषा एवं मेवाड़ी वेशभूषा में ‘मेरा झुमका उठा के ले आया बरेली के बाजार में…’, ‘हवा के झोके आज मौसमों से रूठ गये…’, बेला जैन एण्ड ग्रुप ने ‘गोरे-गोरे मुखड़े-चाँद के टुकड़े…’, ‘आईये महरबां बैठिये जाने जा..’, श्रीमती आजाद गलुण्डिया एण्ड ग्रुप ने ‘शोला जो भड़के दिल मेरा धड़के..’, ज्योत्सना जैन एण्ड ग्रुप ने ‘हुल्ले हुल्ला रे हुल्ले..’जैसे अनेक पैरोडी गीतों पर नृत्य की प्रस्तुति दी तो सभी ने सभी प्रस्तुतियों पर तालियों की दाद दे कर उनकी होंसला आफजाई की। महिलाओं ने पुराने गीतों पर बनायी गई पैरोडी पर दर्शनीय नृत्य की प्रस्तुति दी।
Download the UT Android App for more news and updates from Udaipur
समारोह में विजयलक्ष्मी बंसल के निर्देशन में सरला बांठिया एवं ग्रुप ने हास्य नाटिका ’दिल ही तो है’ का मंचन किया। वैवाहिक संबंधों पर आधारित इस नाटिका में बताया गया कि एक महिला अपनी उच्च शिक्षित बेटी की तो एक पिता अपने पागल बेटे की शादी करना चाहते है। दोनों एक पंडित के यहाँ मिलते है। पंडित के यहाँ दोनों महिला-पुरूष मिलते है और अपने बेटे-बेटी की शादी करने के बजाय दोनों स्वयं शादी कर लेते है। इस कथानक की नाटिका को देखकर दर्शक हसें बिना नहीं रह पाये।
इसके अलावा स्नेहलता साबला एण्ड ग्रुप ने एक नाटिका का मंचन किया जिसमें अग्रेंजी के अपभ्रंश वाक्यों का उच्चारण करने दर्शको को हंसाया। प्रारम्भ में प्रकोष्ठ की संयोजिका पुष्पा कोठारी ने अतिथियों का स्वागत करते हुए प्रकोष्ठों की पृष्ठभमि पर प्रकाश डाला। पूर्व में विज्ञान समिति के अध्यक्ष डाॅ. एल. एल. धाकड़ ने समिति की ओर से सभी का स्वागत करते हुए 60 वर्ष की गौरवमयी यात्रा पर प्रकाश डाला। इस अवसर पर के.एल.कोठारी, प्रकाश तातेड़ सहित अनेक पदाधिकारी एवं गणमान्य नागरिक मौजूद थे। कार्यकम का संचालन विजयलक्ष्मी गलुण्डिया ने किया। अंत में आभार शकुन्तला धाकड़ ने ज्ञापित किया।
To join us on Facebook Click Here and Subscribe to UdaipurTimes Broadcast channels on GoogleNews | Telegram | Signal