पेसिफिक विश्वविद्यालय में कुलपति सम्मेलन
शिक्षा केवल अर्थोपार्जन का साधन ही नहीं वरन् व्यक्ति में नैतिकता व जी
शिक्षा केवल अर्थोपार्जन का साधन ही नहीं वरन् व्यक्ति में नैतिकता व जीवन मूल्यों के विकास का भी साधन हैं। यह बात पेसिफिक विश्वविद्यालय में प्रदेश के कुलपतियों के सम्मेलन में कहते हुए राज्य के शिक्षा मंत्री कालीचरण सर्राफ ने कहा कि प्रदेश सरकार आगामी सत्र से इस दिशा में ठोस कार्य योजना लागू करने जा रही है।
उन्होंने जानकारी दी कि राज्य सरकार द्वारा विद्यालयों में प्रत्येक शनिवार को एक ऐसा कालांश प्रारम्भ किया गया है जिसमें बच्चों को महापुरुषों, देश की महान संस्कृति, योग आदि के बारे में जानकारी दी जाती है। उन्होंने इसी क्रम में आश्वस्त किया कि उच्च शिक्षा में भी नैतिक मूल्यों को शामिल करने का सरकार पूरा प्रयास करेगी।
पेसिफिक विश्वविद्यालय के सभागार में शिक्षा मंत्री की अध्यक्षता में दिनभर चले इस कुलपति सम्मेलन में परिचर्चा के बाद इस कार्य हेतु पाँच कुलपतियों की समिति का गठन किया गया है। यह समिति आगामी सत्र के पहले नैतिकता के विकास हेतु उचित शिक्षण संसाधन विकसित करेंगी जिनमें लघु फिल्म शो, नाटिकाएँ, नैतिकता का स्कोर कार्ड, प्रतिरूपण, माइन्ड गेम्स, केस स्टडीज एवं एक्शन लर्निंग प्रोग्राम शामिल है।
उद्घाटन सत्र के मुख्य वक्ता के रूप में राष्ट्रीय कुलपति सम्मेलन के महासचिव श्री अनिरूद्ध देशपाण्डे ने बताया कि गतवर्ष नई दिल्ली में अखिल भारतीय कुलपति सम्मेलन आयोजित हुआ था जिसमें 122 कुलपतियों ने भाग लिया था। स्वामी विवेकानन्द की 150 जयन्ती के अवसर पर आयोजित इस सम्मेलन में परिचर्चा के बाद एक सहमति पत्र उभर कर आया जिसमें यह बताया गया कि स्वामी जी की विचारधारा आज भी अत्यन्त प्रासंगिक हैं एवं उच्च शिक्षा में नैतिक मूल्यों को समाहित करने के उद्देश्य से कार्य करना आवश्यक है।
उसी कार्य को आगे बढ़ाते हुए इस क्षेत्रीय सम्मेलन का आयोजन किया गया है। जिसमें चर्चा के पश्चात् एक व्यावहारिक एक्शन प्लान बनाने में मदद मिलेगी।
सम्मेलन के दौरान माननीय कुलपतियों की ओर से अनेक सुझाव प्राप्त हुए। विभिन्न विश्वविद्यालयों से पधारे अनेक कुलपतियों ने इस विषय पर अपने-अपने विश्वविद्यालयों में किए जा रहे प्रयोगों एवं उनके परिणामों की जानकारी दी।
समापन सत्र में शिक्षा संस्कृति उत्थान न्यास के राष्ट्रीय सचिव श्री अतुल कोठारी ने परिचर्चा को सार संकलित करते हुए कहा कि सम्मेलन में अत्यन्त लाभदायी एवं समग्र चर्चा हुई है। उन्होंने प्रसन्नता प्रकट की कि पेसिफिक विश्वविद्यालय द्वारा इस संबंध में एक कार्यदल गठित कर अनेक कार्य किए जा रहे हैं। पेसिफिक विश्वविद्यालय के कुलपति प्रो. बी.पी. शर्मा ने बताया कि विश्वविद्यालय द्वारा एक पोर्टल वेबसाइट च्ंबपपिब4मजीपबे शुरू की गई है जिस पर सम्पूर्ण देश में इस विषय पर किए जा रहे कार्य एवं प्रयोगों तथा प्रयासों की समेकित जानकारी उपलब्ध कराने का उद्देश्य है।
उन्होंने यह भी बताया कि पेसिफिक विश्वविद्यालय उच्च शिक्षा में नैतिकता एवं जीवन मूल्यों के समावेशन पर किए जा रहे कार्यों के समन्वय केन्द्र के रूप में कार्य करेगा। उन्होंने जानकारी दी कि आगामी 1-2 नवम्बर को नई दिल्ली में आचार्य महाश्रमण की उपस्थिति में Ethics & Values in Resource Management पर सेमिनार एवं पुनः 11-12 जनवरी 2015 को पेसिफिक विश्वविद्यालय में Seminar on Education for Enhancing Ethics & Excellence आयोजित किया जाएगा।
अन्त में पेसिफिक विश्वविद्यालय के कुलपति प्रो. बी.पी. शर्मा ने सभी को धन्यवाद अर्पित किया।
सम्मेलन में उभरे सुझाव एवं बिन्दु
सम्मेलन में जनार्दन राय नागर विश्वविद्यालय के कुलपति प्रो. एस. एस. सारंगदेवोत, प्रताप युनिवर्सिटी के श्री विनित पाण्डे, सुखाडि़या विश्वविद्यालय के कुलपति श्री आई.वी. त्रिवेदी, राजीव गाँधी ट्राईबल युनिवर्सिटी के श्री टी.सी. डामोर, एम.डी.एस. विश्वविद्यालय अजमेर के प्रो. सुब्रतो दत्ता, विवेकानन्द ग्लोबल विश्वविद्यालय, जयपुर के प्रो. वाई. के. विजय ने भी विचार रखे।
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