मुख्यमंत्री अशोक गहलोत द्वारा हाल ही में दिल्ली में दिए गए एक बयान जिसमें उन्होंने विधायकों को 10 -10 करोड़ रूपए दे कर खरीदने को बात कहीं हैं इसके खिलाफ उदयपुर बार एसोसिएशन के पूर्व अध्यक्ष एडवोकेट प्रवीण खंडेलवाल द्वारा मुख्य मंत्री कार्यालय में एक सूचना के अधिकार के तहत एक आवेदन पेश किया गया हैं।
एडवोकेट खंडेलवाल का कहना हैं अशोक गहलोत ऐसे मुख्यमंत्री हैं जो अक्सर राजस्थान के विधायकों पर खरीद-फरोख्त के आरोप लगाते रहते हैं, इसी से पीड़ित होकर इन्होने ये आवेदन पेश किया हैं।
खंडेलवाल ने बताया की उनके द्वारा लगाये गये इस आवेदन में उन्होने ये सूचना मांगी हैं की किन किन विधायकों ने ये 10-10 करोड़ रूपए प्राप्त किये है ?उनको यह ये पैसा किसने दिया ? उसका नाम बताये जाये। जानकारी मिलने पर सीएम ने भ्रष्टाचार निरोधक ब्यूरो को इसकी कोई सूचना दी हों तो उसकी जानकारी, भ्रष्टाचार निरोधक ब्यूरो ने आपकी उस जानकारी पर कोई कार्यवाही की हों तो इसकी प्रति (कॉपी) उपलब्ध करवाई जाये ।
खंडेलवाल ने बताया की उनके आवेदन में उन्होंने उन विधायकों की जानकारी भी मांगी हैं जिसको 10 करोड़ रूपए से कम या उस उस से ज्यादा पैसे मिले हैं और ये पैसा उन्हें किसने दिया उसकी जानकारी भी मांगी ।
साथी में आवेदन में उन्होने मुख्य मंत्री से ये भी सवाल किया हैं की आपकी जानकारी में आने पर अपने इसके खिलाफ कोई विधिक कार्यवाही की।
खंडेलवाल ने आखरी में बताया की उनके आवेदन के माध्यकम से इन्होने ये भी जान ना चाहा हैं की मुख्य मंत्री जो बार बार ये पैसे लेने देने की बात करते हैं तो वो क्या भ्रस्टाचार से परेशान हैं या 10 करोड़ रूपए नही मिलने से।
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