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गहलोत बोले – वसुंधरा राजे सक्षम नेता, फिर क्यों घर बैठा दिया?

पूर्व मुख्यमंत्री अशोक गहलोत ने बीजेपी पर साधा निशाना, कहा– विपक्ष की अनदेखी और वंदे मातरम् कार्यक्रम का राजनीतिकरण हो रहा है
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उदयपुर 12 नवंबर 2025 - पूर्व मुख्यमंत्री अशोक गहलोत ने कहा कि पूर्व मुख्यमंत्री वसुंधरा राजे एक सक्षम नेता हैं, जिन्होंने दो बार राज्य में सफलतापूर्वक सरकार चलाई है। गहलोत ने सवाल उठाया कि उन्हें घर बैठा क्यों दिया गया। उन्होंने कहा, “जब वसुंधरा राजे मुख्यमंत्री थीं, तब थोड़ा अलग चल रही थीं, लेकिन बाद में हमारे संबंध ठीक हो गए। पता नहीं उन्हें क्यों घर बैठा दिया। उन्होंने दो बार सरकार चलाई है और वो सक्षम हैं।” गहलोत मंगलवार रात उदयपुर में मीडिया से बातचीत कर रहे थे।

उन्होंने कहा कि मुख्य सचिव सुधांश पंत को अचानक दिल्ली भेज दिया गया है, जिसकी जानकारी अचानक सामने आई। “मुझे चिंता है कि कहीं यही स्थिति मुख्यमंत्री भजनलाल शर्मा की न हो जाए,” गहलोत ने कहा।

पूर्व मुख्यमंत्री ने कहा कि "भजनलाल शर्मा को पहली बार मौका मिला है, वे पहली बार विधायक और मुख्यमंत्री बने हैं।“भगवान ने उन्हें यह अवसर दिया है, लेकिन ऐसा लगता है कि वे इसकी गंभीरता को समझ नहीं पा रहे हैं,”

गहलोत ने कहा। उन्होंने राज्य में चल रहे शहरी सेवा शिविरों पर सवाल उठाते हुए कहा कि इनकी मॉनिटरिंग कौन कर रहा है, यह किसी को पता नहीं। “हम विपक्ष में हैं, तो अपनी भूमिका निभाएंगे, कमियां बताएंगे, आलोचना करेंगे। सरकार को इसे नकारात्मक रूप में नहीं लेना चाहिए,” 

सरकार विपक्ष की परवाह नहीं कर रही है

गहलोत ने कहा कि वर्तमान सरकार विपक्ष की कोई परवाह नहीं कर रही। “बिना विपक्ष को शामिल किए शासन चलाया जा रहा है और प्रचार-प्रसार में सरकार का पैसा उड़ाया जा रहा है।

प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी और नेता प्रतिपक्ष राहुल गांधी की भूमिकाएं अलग हैं। सरकार को नेता प्रतिपक्ष की भूमिका का स्वागत करना चाहिए,” उन्होंने कहा।

वंदे मातरम् कार्यक्रम का बीजेपीकरण हो रहा है

गहलोत ने कहा कि बीजेपी वंदे मातरम् के कार्यक्रम का राजनीतिकरण कर रही है। उन्होंने कहा, “वंदे मातरम् से बीजेपी का क्या संबंध है? आज तक किसी शाखा में वंदे मातरम् नहीं गाया गया। वंदे मातरम् पहली बार कांग्रेस अधिवेशन में रवींद्रनाथ टैगोर ने गाया था। यह कांग्रेस की देन है। खुशी की बात है कि आप भी गा रहे हैं, लेकिन इसे बीजेपी का कार्यक्रम न बनाएं।”

उन्होंने कहा कि ऐसे राष्ट्रीय कार्यक्रमों के लिए सभी राजनीतिक दलों, समाजसेवियों और साहित्यकारों को मिलकर बैठक करनी चाहिए थी और सुझाव लेकर कार्यक्रम तय करने चाहिए थे। “लेकिन ये तो केवल इवेंट कर रहे हैं।

सरकार का पैसा खर्च कर कार्यक्रम बीजेपी के नाम से किए जा रहे हैं,” उन्होंने कहा। दिल्ली ब्लास्ट की तह तक जाना जरूरी है दिल्ली में हाल ही में हुए ब्लास्ट पर गहलोत ने कहा, “इस तरह की घटनाओं की तह तक जाना चाहिए। देश में हर साल लगभग ढाई लाख लोग हादसों में मरते हैं और राजस्थान में करीब दस हजार। राज्य में हादसों की संख्या बढ़ रही है। सरकार को सभी विभागों की कमेटी बनाकर इनकी मॉनिटरिंग करनी चाहिए। विपक्ष के बिना लोकतंत्र अधूरा है।”

भैरोंसिंह शेखावत के साथ संबंधों को किया याद

गहलोत ने कहा कि जब भैरोंसिंह शेखावत मुख्यमंत्री थे और बाद में विपक्ष में आए, तब भी उनके साथ संबंध अच्छे रहे। “आज का रवैया सही नहीं है। विपक्ष को आप कुछ समझते ही नहीं।

शेखावत ने एक बार कहा था कि मेरे जीते जी कांग्रेस की सरकार नहीं आएगी। तब मैंने कहा था कि भगवान आपको लंबी उम्र दें, लेकिन सरकार कांग्रेस की ही आएगी। बाद में जब कांग्रेस की सरकार बनी, तब भी हमारे संबंध अच्छे रहे,” गहलोत ने कहा।

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