धरियावद में गर्भवती आदिवासी माहिला के साथ हुई निर्मम घटना के बाद पहले एडीजे क्राइम दिनेश एम एन, घटनास्थल पर पहुंचे जिसके बाद मामले की जाँच में गति आई और शुक्रवार रात वीडियो वाइरल होने से लेकर शनिवार दोपहर तक पीड़ित महिला के पति सहित कुल 10 लोगों को गिरफ्तार कर लिया गया।
तो वहीं घटना की गंभीरता को देखते हुए हालात का जायजा लेने के लिए सीएम अशोक गहलोत खुद धरियावद पहुंचे, मीडिया को संबोधित करते हुए उन्होंने कहा, "यह वास्तव में एक कथित घटना थी, मैं चौंक गया और जिसने भी घटना का वीडियो देखा वह दंग रह गया। यही एकमात्र कारण है कि डीजी पुलिस ने कहा है वीडियो सामने आने के तुरंत बाद कल रात एडीजी क्राइम को गांव भेजा, एसपी प्रतापगढ़ भी गांव पहुंचे और जांच शुरू की।
मुख्यमंत्री गहलोत ने बताया कि थाना प्रभारी ने घटना के तीन आरोपियों को गिरफ्तार कर लिया था। लेकिन यह इतना सुदूर इलाका था, जहां कोई उचित व्यवस्था नहीं थी नेटवर्क उपलब्ध है ताकि वह अपने वरिष्ठ को गिरफ्तारी के बारे में सूचित कर सके। ऐसी स्थिति में सभी वरिष्ठ पुलिस अधिकारी सक्रिय हो गए और वीडियो वायरल होने के कुछ ही घंटों बाद अपराध के तीन मुख्य आरोपियों को गिरफ्तार कर लिया गया।
उन्होंने कहा कि इसके साथ ही सात अन्य को आज सुबह गिरफ्तार कर लिया गया। अब तक कुल दस आरोपियों को गिरफ्तार किया जा चुका है और जांच के दौरान उनके नाम सामने आने पर और भी गिरफ्तार किए जाएंगे। उनके खिलाफ सख्त कार्रवाई की जाएगी क्योंकि ऐसी घटना एक अमानवीय घटना थी जहां एक महिला को निर्वस्त्र करके घुमाया गया था। ऐसी कोई जगह नहीं, कोई देश नहीं, कोई राज्य नहीं, जहां घटनाएं न हो रही हों, लेकिन किसी को भी गैरकानूनी कार्रवाई की इजाजत नहीं है। ऐसे में विपक्ष हो या सत्ता पक्ष सभी को मिलकर इस घटना की आलोचना करनी चाहिए. हमें ऐसे अमानवीय कृत्यों के खिलाफ एकजुट होकर समाज में एक संदेश देना चाहिए।
गहलोत ने कहा कि राजस्थान वो राज्य है जहां अपराध के तुरंत बाद आरोपियों को गिरफ्तार कर लिया जाता है। ऐसा कोई राज्य नहीं है जहां इतनी जल्दी कार्रवाई हुई हो। जोधपुर में बलात्कारियों को मात्र दो घंटे बाद गिरफ्तार कर लिया गया। जैसे ही हम राज्य में सत्ता में आए, मैंने यह अनिवार्य कर दिया कि प्रत्येक एफआईआर पुलिस स्टेशन में दर्ज की जानी चाहिए और यह भी कहा कि इससे शिकायतों की संख्या बढ़ जाएगी, हम इसके बारे में चिंतित नहीं है, हमारी चिंता यह है कि हर पीड़ित को न्याय मिलना चाहिए और हम इसमें सफल हुए हैं।
उन्होंने बताया कि यह हमारी सरकार का एक साहसी कदम था अन्यथा पहले पुलिस पीड़ितों को उनकी शिकायत दर्ज किए बिना घर वापस भेज देती थी। इसके अलावा एक अतिरिक्त एसपी महिलाओं के खिलाफ अपराध के मामलों से निपटने के लिए हर जिले में रैंक के अधिकारियों को तैनात किया गया है, POCSO अधिनियम के मामलों को भी ध्यान में रखा गया है। इस मामले में भी कोई एफआईआर दर्ज नहीं की गई थी, यह सिर्फ घटना का वीडियो था जो बाद में सामने आया था यह वीडियो किसी ने एसपी के साथ साझा किया है और वीडियो में लोगों की भाषा के आधार पर उन्होंने ही पुलिस को सूचित किया कि यह धरियावद इलाके का वीडियो हो सकता है, जिसके बाद जांच शुरू हुई।''
हालांकि इसके बाफ जब सीएम का काफिला वहां से निकला तो रास्ते में इस घटना से नाराज क्षेत्र के कुछ लोगों ने सीएम को काले झंडे दिखाए और अशोक गहलोत के खिलाफ नारे बाजी भी की।
To join us on Facebook Click Here and Subscribe to UdaipurTimes Broadcast channels on GoogleNews | Telegram | Signal