उदयपुर 7 फरवरी 2025। अखिल भारतीय विद्यार्थी परिषद (ABVP) के कार्यकर्ताओं ने मोहनलाल सुखाडिया विश्वविद्यालय में फीस वृद्धि और प्रशासनिक अनियमितताओं के खिलाफ प्रदर्शन किया।
महानगर मंत्री पुष्पेन्द्र सिंह राठौड़ ने बताया कि मोहनलाल सुखाडिया विश्वविद्यालय राजस्थान के जनजाति क्षेत्र का सबसे बड़ा विश्वविद्यालय है और इस विश्वविद्यालय में नियमित और गैर नियमित दोनों ही पाठ्यक्रमो में जनजाति क्षेत्र का युवा पढने आता है लेकिन विश्वविद्यालय प्रशासन यहा पर सस्ती और अच्छी शिक्षा देने, संसाधनों को बढाने के बजाए मनमाने तरीके से फीस में वृद्धि करता है जो की उचित नही है प्रोफेशनल पाठ्यक्रमो की फीस सेमेस्टर के बीच बढाई जा रही है और फीस नही जमा करवाने पर उनका परिणाम रोक दिया जाएगा।
इकाई अध्यक्ष प्रवीण टांक ने मांगो के बारे में बताया कि विश्वविद्यालय में पीएचडी के पाठयक्रम को UGC नियमो के अनुरूप नही चलाया जा रहा है, और अन्य राज्य विश्वविद्यालय की तुलना में सुखाडिया विश्वविद्यालय की फीस ज्यादा है जिसे कम किया जाना चाहिए l NEP लागु होने के बाद पाठ्यक्रमो के परिणामो के स्वरुप में भी बदलाव आया है, जैसे विद्यार्थी किसी विषय के आंतरिक परीक्षा में फ़ैल है और विश्वविद्यालय की परीक्षा में पूर्ण प्राप्तांक आये तो भी वह उस विषय में फ़ैल माना जायेगा, अतः जानकारी के साथ आदेश निकालना चाहिए और आंतरिक परीक्षाओ के अंक वेबसाइट पर अपलोड होने चाहिए और विद्यार्थी को डिफाल्टर परीक्षा के पर्याप्त मौके देने चाहिए ।
उन्होंने बताया कि विश्वविद्यालय का क्रीडा मंडल खिलाडीयो के हित में सोचते हुए राजनैतिक अखाड़े को बंद कर विश्वविध्यालय द्वारा वसूल किया जाने वाले अवेध खेल शुल्क को भी बंद किया जाये। विश्वविद्यालय में कोरोना महामारी के कारण जो सेमेस्टर लेट हुए थे वो आज तक लेट चल रहे है, जो सेमेस्टर लेट हुए है उनकी परीक्षा करा कर उनके परिणाम तुरंत जारी किए जाए। 5. विश्वविद्यालय में प्रोफेशनल पाठ्यक्रमो की फीस सेमेस्टर के बीच नहीं बढाई जाए।
छात्रों ने मांग रखी की विश्वविद्यालय में कार्यरत शिक्षको का CAS के माध्यम से जो नियमानुसार पदोन्नति दी जानी चाहिए उस पर भी जल्द से जल्द निर्णय लेना चाहिए। विश्वविद्यालय में वर्ष 2010-2020 तक के ऐसे छात्र जो किसी कारणवश अपनी डिग्री पूरी नही कर पाए हो उनके परीक्षा फॉर्म भरवाकर पुनः मोका देना चाहिए इकाई सचिव गौतम बंधु ने बताया कि छात्रों से रूपये किस प्रकार से वसूले इस पर ध्यान ना देते हुए विश्वविद्यालय में जो अनियमितता व्याप्त है उस पर ध्यान देवे व विश्वविद्यालय की छवि धूमिल ना होवे इसे मध्यनजर रखते हुए कार्य करे।
ज्ञापन देते समय रौनक़ राज सिंह, पार्थ दीक्षित, चिराग़ दाहिमा, तुषार वाघेला, श्रवण गौड़, ख़ुशी चौहान, अमन विश्वकर्मा, प्रियांश शर्मा, हर्ष राजानी, शुभम् पुरोहित, उपस्थित थे।
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