उदयपुर। यूनाईटेड किंगडम के मैनचेस्टर शहर में हुई ’वन यंग वर्ल्ड सम्मिट’ में उदयपुर की तसनीम मेहज़बीन ने भाग लेकर मेवाड का नाम गौरवान्वित किया। राजस्थान से वे एक मात्र सदस्य थी जो इस सम्मिट का हिस्सा बनी। सम्मिट के दौरान बुलाए गए स्पीकर्स दुनियांभर के देशों से आए यंगस्टर को अपनी जीवनशैली में ’सोशल वर्क’ करने की प्रेरणा देते है। सम्मिट में शामिल उदयपुर की तसनीम मेहज़बीन दुनियां में लोगों को उत्तम शिक्षा (क्वालिटी एज्युकेशन) मिले इसके लिए कार्य करना चाहती है।
तसनीम मेहज़बीन पत्नी फखरी भोजियावाला का इस सम्मिट के लिए चयन उनके द्वारा किये गए सामाजिक कार्यों, लीडरशिप व नवाचार के कार्यों के आधार पर चार चरणों को पार करने के बाद हुआ।
यूके का गैर लाभकारी संगठन ’वन यंग वर्ल्ड’ द्वारा इसका आयोजन प्रतिवर्ष होता है। चार दिवसीय सम्मिट में दुनियांभर से उन लोगों को चुना जाता है जो अपनी तीव्र बुद्धि की क्षमता से अपने कॅरियर को आगे बढा रहे है। दुनियांभर से आने वाले ये यंगस्टर जो कि वैश्विक, राष्ट्रीय कंपनियों, स्वयंसेवी संस्थाओं, यूनिवरसिटी स्कॉलर्स सहित अलग ही सोच रखने वाले युवाओं को इसमें शामिल किया जाता है।
सम्मिट में दुनिया के जाने माने लीडर्स व अपने दम पर दुनियां बदलने वाली शख्सियतें इन यंगस्टर के काउंसलर बनते है और उनकी कार्यप्रणाली व बौद्धिक क्षमता का परीक्षण कर उन्हें प्रोत्साहित करते है।
सम्मिट में शामिल होने गई उदयपुर के बोहरा समुदाय की तसनीम मेहज़बीन पत्नी फखरी भोजियावाला ने बताया कि इस चार दिवसीय सम्मिट में दुनियांभर के 201 देशों से 2000 से अधिक लोग हिस्सा बने। उन्होंने बताया कि सम्मीट के दौरान उन्हें राजनीति, फिल्म, खेल से जुडी हस्तियों जैसे प्रिंस हेरी, मेगन मार्कल, इब्तिहाज मुहम्मद, हलीमा एडन सहित कई बडी हस्तियों से मिलने का मौका मिला। जहां ये बडी हस्तियां अपने जीवन व कैरियर के शुरूआत दिनों के संघर्ष की कहानियां भी इनसे साझा करते है।
अपने नाना नानी हुसैनी मगर वाला और बतूल मगर वाला के संरक्षण में पली बढ़ी तसनीम ने बताया कि वे चाहती है कि दुनियांभर में शिक्षा पर काम हो और क्वालिटी एज्युकेशन (उत्तम शिक्षा) लोगों को मिले इसके लिए प्रयास होने चाहिए।
तसनीम वर्तमान में दवाई कंपनी नोर्वाटीज में कार्यरत है और उन्हें कंपनी की ओर से यह अवसर मिला है। देशभर से कुल 12 युवा इसमें शामिल हुए। सम्मिट में आने वाले स्पीकर्स अपने जीवन की सच्ची घटनाओं से प्रेरित करते है जो अलग-अलग क्षेत्रों में काम कर रहे है। जिनमें प्रकृति को बेहतर बनाने, इकोनॉमी को अपलिफ्ट करने, वेस्ट चीजों को कैसे रिड्यूज कर काम में लेने योग्य बनाएं और जेंडर इक्वेलिटी आदि शामिल है। इसके बाद इन यंगस्टर्स से इनकी इच्छा जानी जाती है कि वे किस क्षेत्र में सोशल वर्क करना चाहते है। तसनीम की माँ मेहज़बीन मगर भी शिक्षा के क्षेत्र में कई वर्षों से कार्यरत है। उन्होंने राजस्थान के कई विद्यालयों सहित करीब 20,000 से अधिक छात्रों को हैण्डराइटिंग व अंग्रेजी भाषा सिखाने में सहयोग कर चुकी है।
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